UNSC में कश्मीर पर चर्चा चाहता था चीन, सदस्यों के विरोध पर वापस लेना पड़ा प्रस्ताव

UNSC members force China to bury request for debate on Kashmir
UNSC में कश्मीर पर चर्चा चाहता था चीन, सदस्यों के विरोध पर वापस लेना पड़ा प्रस्ताव
UNSC में कश्मीर पर चर्चा चाहता था चीन, सदस्यों के विरोध पर वापस लेना पड़ा प्रस्ताव

डिजिटल डेस्क, दिल्ली। अब संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद (UNSC) की ओर से चीन के इशारे पर कश्मीर मुद्दे पर एक और चर्चा कराए जाने की संभावना नहीं है। दरअसल जम्मू और कश्मीर से अनुच्छेद 370 हटाए जाने के बाद से चीन और पाकिस्तान की तरफ से भारत पर लगातार कई आरोप लगाए गए। अनुच्छेद 370 के निरसन के बाद चीन ने कश्मीर मद्दे पर UNSC में चर्चा की मांग की थी। हालांकि UNSC सदस्यों ने मंगलवार को सार्वजनिक चर्चा के लिए चीन की इस मांग को खारिज कर दिया है।

UNSC के सदस्य, परिषद के एक प्रावधान के तहत कश्मीर पर एक निजी चर्चा के लिए सहमत हुए जिसमें मतदान की कोई आवश्यकता नहीं होती है। मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक फ्रांस, अमेरिका, रूस और ब्रिटेन के विरोध के बाद चीन ने अपना प्रस्ताव वापस ले लिया है। सूत्रों के अनुसार चीन ने अमेरिका के दबाव के बाद इस प्रस्ताव को वापस लिया है। वहीं फ्रांस ने भी चीन से कड़े शब्दों में कहा कि कश्मीर, भारत और पाकिस्तान के बीच का मामला है, जिसके बीच किसी भी तीसरे देश को दखलअंदाजी करने का कोई अधिकार नहीं है।

चीन के इस प्रस्ताव पर ब्रिटेन ने भी अपना रुख स्पष्ट करते हुए कहा कि यह मामला भारत और पाकिस्तान के बीच का है, तो इसमें चर्चा करने का कोई सवाल ही नहीं उठता है। वहीं रूस ने भी कश्मीर मुद्दे पर बात करने से इनकार कर दिया। रूस ने कहा कि हमारे पास और भी कई तरह के अहम मुद्दे हैं, UNSC के एजेंडे में दूसरे अहम वैश्विक मुद्दों पर चर्चा की जाएगी। इसके अलावा इंडोनेशिया ने भी कश्मीर पर चर्चा करने पर ऐतराज जताते हुए कहा कि नियंत्रण रेखा पर सुरक्षा बलों को बढ़ावा देना किसी भी देश का आंतरिक मामला है और इस पर दूसरे देशों को कोई आपत्ति नहीं होनी चाहिए।

बता दें कि UNSC 15 देशों की सदस्यता वाला परिषद है, जिसमें भारत शामिल नहीं है। जबकि अमेरिका, रूस, फ्रांस, चीन और ब्रिटेन इसके मुख्य सदस्य हैं। गौरतलब है कि चीन से पहले भी पाकिस्तान ने UNSC में कश्मीर को लेकर गुहार लगाई थी, लेकिन उसे भी चीन की तरह मुंह की खानी पड़ी थी। इस दौरान चीन के अलावा किसी भी देश ने पाकिस्तान का साथ नहीं दिया था। वहीं अमेरिका, रूस और ब्रिटेन जैसे देशों ने इसे भारत और पाकिस्तान का द्विपक्षीय मसला करार दिया था।

Created On :   18 Dec 2019 10:10 AM IST

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