मन की बात: प्रधानमंत्री मोदी बोले- पाकिस्तान ने पाल रखे थे बड़े-बड़े मंसूबे, हमारी जमीन हथियाने का किया था दुस्साहस

मन की बात: प्रधानमंत्री मोदी बोले- पाकिस्तान ने पाल रखे थे बड़े-बड़े मंसूबे, हमारी जमीन हथियाने का किया था दुस्साहस
हाईलाइट
  • मन की बात कार्यक्रम के 67 वें एपिसोड का प्रसारण

डिजिटल डेस्क, नई दिल्ली। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी मन की बात कार्यक्रम के 67 वें संस्करण में आज देशवासियों को संबोधित किया।पीएम मोदी ने अपने संबोधन की शुरूआत कारगिल के शहीदों को याद करते हुए की। उन्होंने कहा, आज 26 जुलाई है, आज का दिन बहुत खास है। आज ‘कारगिल विजय दिवस’ है।

21 साल पहले आज के ही दिन कारगिल के युद्ध में हमारी सेना ने भारत की जीत का झंडा फहराया था। कारगिल का युद्ध जिन परिस्थितियों में हुआ था, वो भारत कभी नहीं भूल सकता। पाकिस्तान ने बड़े-बड़े मनसूबे पालकर भारत की भूमि हथियाने और अपने यहां चल रहे आन्तरिक कलह से ध्यान भटकाने को लेकर दुस्साहस किया था।

आप कल्पना कर सकते हैं–ऊचें पहाडों पर बैठा हुआ दुश्मन और नीचे से लड़ रही हमारी सेना, हमारे वीर जवान लेकिन जीत पहाड़ की ऊँचाई की नहीं,भारत की सेनाओं के ऊँचे हौंसले और सच्ची वीरता की हुई। साथियो, उस समय, मुझे भी कारगिल जाने और हमारे जवानों की वीरता के दर्शन का सौभाग्य मिला, वो दिन, मेरे जीवन के सबसे अनमोल क्षणों में से एक है। मेरा, देश के नौजवानों से आग्रह है, कि आज दिन-भर कारगिल विजय से जुड़े हमारे जाबाजों की कहानियाँ, वीर-माताओं के त्याग के बारे में, एक-दूसरे को बताएं और शेयर करें। 

पीएम मोदी ने कहा, मैं,आज सभी देशवासियों की तरफ से हमारे इन वीर जवानों के साथ-साथ, उनकी माताओं को भी नमन करता हूं, जिन्होंने, माँ-भारती के सच्चे सपूतों को जन्म दिया। साथियों, मैं आपसे आग्रह करता हूं http://gallantryawards.gov.in वेबसाइट पर आप ज़रूर Visit करें, वहां आपको, हमारे वीर पराक्रमी योद्धाओं और उनके पराक्रम के बारे में बहुत सारी जानकारियां प्राप्त होंगी। साथियो, कारगिल युद्ध के समय अटल जी ने लालकिले से जो कहा था, वो, आज भी हम सभी के लिए बहुत प्रासंगिक है। 

पीएम मोदी ने कहा, अटल जी ने कहा था कि कारगिल युद्ध ने, हमें एक दूसरा मंत्र दिया है- ये मंत्र था, कि, कोई महत्वपूर्ण निर्णय लेने से पहले, हम ये सोचें, कि, क्या हमारा ये कदम, उस सैनिक के सम्मान के अनुरूप है जिसने उन दुर्गम पहाड़ियों में अपने प्राणों की आहुति दी थी। युद्ध की परिस्थिति में, हम जो बात कहते हैं, करते हैं, उसका सीमा पर डटे सैनिक के मनोबल पर उसके परिवार के मनोबल पर बहुत गहरा असर पड़ता है। ये बात हमें कभी भूलनी नहीं चाहिए। 

पीएम मोदी ने कहा, कभी-कभी हम इस बात को समझे बिना Social Media पर ऐसी चीजों को बढ़ावा दे देते हैं जो हमारे देश का बहुत नुकसान करती हैं। कभी-कभी जिज्ञासा वश forward करते रहते हैं। पता है गलत है ये करते रहते हैं। आजकल, युद्ध, केवल सीमाओं पर ही नहीं लड़े जाते हैं, देश में भी कई मोर्चों पर एक साथ लड़ा जाता है, और, हर एक देशवासी को उसमें अपनी भूमिका तय करनी होती है। 

पीएम मोदी ने कहा, पिछले कुछ महीनों से पूरे देश ने एकजुट होकर जिस तरह कोरोना से मुकाबला किया है, उसने, अनेक आशंकाओं को गलत साबित कर दिया है। आज, हमारे देश में recovery rate अन्य देशों के मुकाबले बेहतर है, साथ ही, हमारे देश में कोरोना से मृत्यु-दर भी दुनिया के ज्यादातर देशों से काफ़ी कम है।

पीएम मोदी ने कहा, कोरोना का खतरा अभी टला नहीं है। हमें बहुत ही ज्यादा सतर्क रहने की जरूरत है। चेहरे पर mask लगाना या गमछे का उपयोग करना, दो गज की दूरी, लगातार हाथ धोना, कहीं पर भी थूकना नहीं, साफ़ सफाई का पूरा ध्यान रखना - यही हमारे हथियार हैं जो हमें कोरोना से बचा सकते हैं। 

पीएम मोदी ने कहा, मैं, आप से आग्रह करूँगा जब भी आपको mask के कारण परेशानी feel होती हो, मन करता हो उतार देना है, तो, पल-भर के लिए उन Doctors का स्मरण कीजिये, उन नर्सों का स्मरण कीजिये, हमारे उन कोरोना वारियर्स का स्मरण कीजिये। 

पीएम मोदी ने कहा, सकारात्मक approach से हमेशा आपदा को अवसर में, विपत्ति को विकास में बदलने में मदद मिलती है। हम कोरोना के समय भी देख रहे हैं, कि कैसे देश के युवाओं-महिलाओं ने talent और skill के दम पर कुछ नये प्रयोग शुरू किये हैं। 

पीएम मोदी ने कहा, बिहार में कई women self help groups ने मधुबनी painting वाले mask बनाना शुरू किया है, और देखते-ही-देखते, ये खूब popular हो गये हैं। ये मधुबनी mask एक तरह से अपनी परम्परा का प्रचार तो करते ही हैं, लोगों को, स्वास्थ्य के साथ, रोजगारी भी दे रहे हैं।

पीएम मोदी ने कहा, North East में bamboo यानी, बाँस, कितनी बड़ी मात्रा में होता है, अब, इसी बांस से त्रिपुरा, मणिपुर, असम के कारीगरों ने high quality की पानी की बोतल और Tiffin Box बनाना शुरू किया है। 

पीएम मोदी ने कहा, लद्दाख में एक विशिष्ट फल होता है जिसका नाम चूली या apricot यानी खुबानी है। दूसरी ओर कच्छ में किसान Dragon Fruits की खेती के लिए सराहनीय प्रयास कर रहे हैं। आज कई किसान इस कार्य में जुटे हैं। फल की गुणवत्ता और कम ज़मीन में ज्यादा उत्पाद को लेकर काफी innovation किये जा रहे हैं।
 

 

Created On :   26 July 2020 8:03 AM IST

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