हाई कोर्ट ने पूछा बढ़ती यौन हिंसा के पीछे, वासना की भूख तो वजह नहीं
डिजिटल डेस्क,चैन्नई। मद्रास हाई कोर्ट ने महिलाओं और बच्चियों के खिलाफ यौन हिंसा के बढते मामलों पर चिंता जताई है। केंद्र और तमिलनाडु सरकार से पूछा है कि महिलाओं के खिलाफ बढ़ते यौन अपराधों के लिए कहीं पुरुषों की "असुंतुष्टि" तो कारण नहीं है? कोर्ट ने यह पता करने के लिए कहा है कि इन अपराधों में वृद्धि लिंग अनुपात में गिरावट की वजह से है या सांस्कृतिक, धार्मिक, नैतिक कारणों से सेक्स पर मनाही की वजह से। वहीं हाई कोर्ट ने केंद्र और तमिलनाडु सरकार से महिलाओं को उनके खिलाफ होने वाली यौन हिंसा को रोकने वाला गैजेट मुहैया कराने की संभावना तलाशने के लिए कहा है।
जस्टिस एन. किरुबाकरन ने कहा कि साल दर साल महिलाओं और बच्चियों के खिलाफ यौन हिंसा में वृद्धि हो रही है। उन्होंने इस तरह के घृणित अपराधों पर रोक लगाने के लिए आवश्यक कदम उठाने को कहा। न्यायाधीश ने सरकार से महिलाओं को गैजेट मुहैया कराने की संभावना तलाशने को कहा।
जस्टिस एन किरुबकरन ने केंद्र, राज्य सरकार और राष्ट्रीय महिला आयोग से कई सवाल किए हैं। उन्होंने हर साल बढ़ते महिलाओं और लड़कियों के खिलाफ अपराधों को रोकने के लिए जल्द कदम उठाने की जरूरत बताई। उन्होंने 10 जनवरी 2018 तक अपने जवाब देने के लिए कहा है। जज ने कहा, "यौन हमला निजता, सम्मान और प्रतिष्ठा का उल्लंघन है। इससे असहाय पीड़ित के मन में स्थायी डर और पीड़ा बनी रहती है।" "हर किसी का अपने शरीर पर अधिकार है और किसी के पास उस पर हमला करने का हक नहीं है। यौन शोषण में पीड़ित के विरोध के बाद भी उसके शरीर पर बलपूर्वक अधिकार जमाया जाता है।" जज ने 60 साल की एक मानसिक रूप से अक्षम महिला से रेप के आरोपी एंड्र्यू और प्रभु की जमानत याचिका खारिज करते हुए कहा कि दोषियों को न ही इनसान कहा जा सकता है।
इतना ही नहीं जज ने ये भी कहा कि "2012 के दिल्ली गैंगरेप केस के बाद सख्त कानून बनाने के बाद भी महिलाओं के खिलाफ यौन अपराध वैसे ही होते हैं।" उन्होंने कहा कि अपराधों को सामाजिक और मनोवैज्ञानिक स्तरों पर समझना चाहिए। जज ने खुद संज्ञान लेते हुए सरकारों और आयोग से उनके सवालों के जवाब देने के लिए कहा। उन्होंने सवाल किया कि क्या यौन अपराध बढ़ने में शराब, कन्या भ्रूण हत्या के कारण लिंग अनुपात में गिरावट, सेक्स को लेकर मनाही, कम समझ और जानकारी, इंटरनेट पर पॉर्न की भूमिका होती है। जज ने सरकार से महिलाओं को मुसीबत के समय में इस्तेमाल करने के लिए डिवाइस या गैजेट देने के लिए भी कहा।
Created On :   17 Dec 2017 1:28 PM IST