Modi Speech: कोरोना संकट के बीच मोदी का ऐलान- नवंबर तक 80 करोड़ लोगों को मिलेगा मुफ्त अनाज
डिजिटल डेस्क, नई दिल्ली। कोरोना संकट के बीच प्रधानमंत्री नरेंद्र आज (30 जून) एक बार फिर राष्ट्र को संबोधित कर रहे हैं। प्रधानमंत्री ने कहा, कोरोना के खिलाफ लड़ते-लड़ते अब हम अनलॉक 2 में प्रवेश कर रहे हैं। हम उस मौसम में भी प्रवेश कर रहे हैं जिसमें सर्दी, जुकाम, बुखार होता है। ये मामले बढ़ जाते हैं। ऐसे में आप सभी देशवासियों से प्रार्थना है कि ऐसे समय में अपना ध्यान रखें। जब से अनलॉक शुरू हुआ है लोगों में लापरवाही बढ़ गई है। पहले हम बहुत सतर्क थे लेकिन आज जब ज्यादा सतर्कता की जरूरत है तो लापरवाही बढ़ना चिंता का कारण है।
#WATCH LIVE: Prime Minister Narendra Modi addresses the nation https://t.co/MVp4YAjQOt
— ANI (@ANI) June 30, 2020
कोरोना के कहर से निपटने के लिए दो गज की दूरी बनाए रखने की अपील करते हुए पीएम मोदी ने कहा, मैं आप सबसे आग्रह करता हूं कि, आप सभी स्वस्थ रहिए, दो गज की दूरी का पालन करते रहिए, गमछा, फेस कवर, मास्क ये हमेशा उपयोग करिए और कोई भी लापरवाही मत बरतिए। हम सारी एहतियात बरतते हुए आर्थिक गतिविधियों को और आगे बढ़ाएंगे। हम आत्मनिर्भर भारत के लिए दिन रात एक करेंगे। हम सब ‘लोकल के लिए वोकल’ होंगे। इसी संकल्प के साथ हम 130 करोड़ देशवासियों को मिलजुल कर के, संकल्प के साथ काम भी करना है और आगे भी बढ़ना है।
राष्ट्र के नाम संबोधन में पीएम मोदी ने कहा:
- लॉकडाउन के दौरान गंभीरता से नियमों का पालन किया गया था। अब देश के नागरिकों को फिर से उसी तरह की सतर्कता दिखाने की जरूरत है। जो लोग नियमों का पालन नहीं कर रहे हैं उन्हें रोकना होगा और समझाना होगा। आपने खबरों में देखा होगा कि एक देश के प्रधानमंत्री पर 13 हजार का जुर्मान लग गया क्योंकि वे सार्वजनिक स्थान पर बिना मास्क पहने गए थे। भारत में भी स्थानीय प्रशासन को इसी चुस्ती से काम करना चाहिए।
- कोरोना से लड़ते हुए भारत में 80 करोड़ लोगों को तीन महीने का राशन मुफ्त दिया गया है। इसके अतिरिक्त प्रत्येक परिवार को हर महीने एक किलो दाल भी दी गई। एक तरह देखें तो अमेरिका की कुल जनसंख्या से ढाई गुना अधिक लोगों को, ब्रिटेन की जनसंख्या से 12 गुना अधिक लोगों को, और यूरोपीय यूनियन की आबादी से दोगुने से ज्यादा लोगों को सरकार ने मुफ्त अनाज दिया है।
- वर्षा ऋतु के बाद कृषि क्षेत्र में ज्यादा काम होता है। जुलाई से धीरे-धीरे त्योहारों का भी माहौल बनता है। सावन शुरू हो रहा है। रक्षाबंधन आएगा, कृष्ण जन्माष्मी आएगी। त्योहारों के समय खर्च भी बढ़ता है। इसलिए सरकार ने फैसला लिया है कि प्रधानमंत्री गरीब कल्याण अन्न योजना का विस्तार अब दिवाली और छठ पूजा तक यानी नवंबर के आखिरी तक कर दिया जाएगा।
- पूरे देश में एक राशनकार्ड पर काम किया जाएगा। आज अगर सरकार सबको राशन दे रही है तो उसका क्रेडिट अन्नदाता किसान और दूसरा ईमानदार टैक्सपेयर को जाता है।
- प्रत्येक परिवार को हर महीने पांच किलो गेहूं या चावल और एक किलो चना दिया जाएगा। इसमें 90 हजार करोड़ रुपये से ज्यादा खर्च होंगे। पिछले महीने का खर्च भी जोड़ दें तो करीब 1.5 लाख करोड़ हो जाता है।
- किसानों ने देश का अन्न भंडार भरा है इसलिए आज गरीब का चूल्हा जल रहा है। आपने ईमानदारी से टैक्स भरा है, अपना दायित्व निभाया है इसलिए आज देश का गरीब संकट से मुकाबला कर पा रहा है।
- लॉकडाउन के दौरान देश की सर्वोच्च प्राथमिकता रही कि ऐसी स्थिति न आए किसी गरीब के घर में चूल्हा न जले। केंद्र सरकार हो, राज्य सरकारें हों, सिविल सोसायटी के लोग हों, सभी ने पूरा प्रयास किया कि इतने बड़े देश में हमारा कोई गरीब भाई-बहन भूखा न सोए। देश हो या व्यक्ति, समय पर और संवेदनशीलता से फैसले लेने से किसी भी संकट का मुकाबला करने की शक्ति बढ़ जाती है। इसलिए लॉकडाउन होते ही सरकार, प्रधानमंत्री गरीब कल्याण योजना लेकर आई।
- बीते तीन महीनों में 20 करोड़ गरीब परिवारों के जनधन खातों में सीधे 31 हजार करोड़ रुपए जमा करवाए गए हैं। इस दौरान 9 करोड़ से अधिक किसानों के बैंक खातों में 18 हजार करोड़ रुपए जमा हुए हैं। कोरोना से लड़ते हुए भारत में 80 करोड़ से ज्यादा लोगों को 3 महीने का राशन यानि परिवार के हर सदस्य को 5 किलो गेहूं या चावल मुफ्त दिया गया।
Created On :   30 Jun 2020 7:36 AM IST