कोरोना पहले जितना असरदार नहीं, एक्सपर्ट्स के मुताबिक लंग्स पर कमजोर पकड़ की वजह से सीटी स्कैन की जरूरत भी कम

Corona is not as effective as before, according to experts,
कोरोना पहले जितना असरदार नहीं, एक्सपर्ट्स के मुताबिक लंग्स पर कमजोर पकड़ की वजह से सीटी स्कैन की जरूरत भी कम
राहत की सांस लें कोरोना पहले जितना असरदार नहीं, एक्सपर्ट्स के मुताबिक लंग्स पर कमजोर पकड़ की वजह से सीटी स्कैन की जरूरत भी कम
हाईलाइट
  • वायरस के मरीजों पर कम असर करने की मुख्य वजह है वैक्सीनेशन।
  • भारत ने पिछले 24 घंटों में 1
  • 41
  • 986 नए कोविड मामले दर्ज किए।

 डिजिटल डेस्क, नई दिल्ली।  कोरोना केसों को लगातार बढ़ते आंकड़ो को देखकर यह माना जा रहा है कि देश में तीसरी लहर आ चुकी है। लेकिन इसी बीच एक राहत से भरी खबर भी आई है। तीसरी लहर में ज्यादातर मरीजों में सीटी स्कैन जांच की आवश्यकता नहीं पड़ रही है। एक्सपर्ट का कहना है कि पिछली लहर में 10 में से 8 मरीजों को सीटी स्कैन कराने की जरूरत पड़ रही थी। वहीं इस बार 10 मरीजों में से एक या दो मरीजों को ही जांच करानी पड़ रही है। साथ ही डॉक्टर्स का कहना है कि उनमें भी लंग्स इनवॉल्वमेंट नहीं मिल रहा है। अगर कुछ मरीजों में मिल भी रहा है तो लंग्स इनवॉल्वमेंट बहुत ही माइल्ड रूप में देखा जा रहा है। जिसे डॉक्टर्स कह रहे है कि यह एक राहत की बात है। 
 
 हमेशा रहें सतर्क 
 NBT की एक खबर के मुताबिक तीसरी लहर के बीच में भले ही यह राहत की खबर है। लेकिन, इसके बाद भी डॉक्टर्स का कह रहें है कि कोरोना और इसके नए वेरिएंट ओमीक्रोन को हल्के में न लें। क्योंकि अब केसों की संख्या में तेजी से ईजाफा देखा जा रहा है। साथ ही पहले से ही बीमार और कमजोर इम्युनिटी वाले लोगों के लिए यह केवल खतरनाक ही नहीं जानलेवा भी साबित हो सकता है। 
डॉक्टर का मामना है कि कहा कि इन पहलुओं को जानने के बाद भी हमारा फोकस यही होना चाहिए कि कोविड नियमों का पालन करें और नही भीड़ में जाएं और न ही भीड़ होने दें।

देखी गई राहत 
एनबीटी के अनुसार मैक्स साकेत के इंटरनल मेडिसिन और कोविड एक्सपर्ट डॉक्टर रोमेल टिक्कू ने कहा कि आज ही एक मरीज का सीटी कराया गया है। यह मरीज 60 साल से ऊपर का है और जो डायबिटीज का भी मरीज है।  मरीज का सीटी कराने के बाद हमारे सामने जो रिजल्ट आया वह राहत देने वाला है। क्योंकि मरीज का सीटी स्कोर 7/25 आया है, जो माइल्ड है।

वैक्सीन है असरदार 
आकाश हॉस्पिटल की रेडियोलॉजिस्ट डिपार्टमेंट की हेड डॉक्टर मीनल चौधरी के अनुसार पिछली लहर में हर दिन 50 से अधिक सीटी स्कैन किए जा रहे थे। लेकिन इस बार रोजाना तीन या चार मरीजों का ही मुश्किल से सीटी स्कैन किया जा है। डॉक्टर कहना है कि सच तो यह है कि सीटी स्कैन की अवश्यकता ही नहीं पड़ रही है। जिनकी जांच की जा रही है उन मरीजों के सीटी स्कैन पर यह वैरिएंट बहुत ही माइल्ड दिखाई दे रहा है।

 डॉक्टर मीनल चौधरी का कहना है कि वायरस के मरीज पर कम असर करने  की मुख्य वजह है वैक्सीनेशन। इसलिए असर कम हो रहा है क्योंकि ज्यादातर लोग वैक्सीनेटेड हैं। डॉक्टर ने कहा कि इन तमाम पहलुओं के बाद भी हमारा फोकस होना चाहिए कि कोविड बिहेवियर का पालन करें और भीड़ में न जाएं और भीड़ न होने दें। 

ऑक्सिजन की जरूरत भी कम 

बीएलएके हॉस्पिटल के रेस्पेरेटरी विभाग के डॉक्टर संदीप नय्यर ने NBT से बात करते हुए कहा कि इस बार बीते समय की तुलना में इस बार एडमिशन कम हो रहे हैं। अधिकतर  मरीज ओपीडी बेसिस पर ही रिकवर कर रहे हैं। डॉक्टर ने कहा कि  उनके पास एडमिट अधिकतर मरीजों को इस बार निमोनिया नहीं हो रहा है। लंग्स पर संक्रमण का असर कम हो रहा है। साथ ही ऑक्सिजन की जरूरत भी मरीजों को कम पड़ रही है, इसका फायदा यह है कि सीटी स्कैन जैसी जांच की आवश्यकता भी नहीं पड़ रही है। 

 पैनिक होने की आवश्यकता नहीं

वहीं,NBT से बात करते हुए  फोर्टिस अस्पताल के रेडियोलॉजिस्ट डॉक्टर अभिषेक बंसल ने कहा कि उन्होंने सिर्फ 2 सीटी स्कैन किए हैं। और दोनों में ही कुछ नहीं मिला। डॉ. बंसल का कहना है कि पिछली वेव में दिन भर में 30 से 40 सीटी स्कैन किए जा रहे थे। लेकिन इस बार ऐसा नहीं है लंग्स पर असर बहुत कम होने की वजह से ही मरीज जल्दी रिकवर हो रहे हैं।
उन्होंने कहा कि अस्पताल में स्टाफ के कई लोग भी संक्रमित हो गए थे। लेकिन केवल एक ही स्टाफ को एडमिट करने की जरूतर पड़ी। साथ ही उन्होंने यह भी कहा कि लगभग दो या तीन दिनों में ही लक्षण खत्म हो जा रहे हैं। इसलिए लोगों को ज्यादा घबराने की आवश्यकता नहीं हैं।

भारत में कोरोना की स्थिति

भारत ने पिछले 24 घंटों में 1,41,986 नए कोविड मामले दर्ज किए। साथ ही 285 लोगों की मौतें दर्ज की गईं। केंद्रीय स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्रालय ने शनिवार को यह जानकारी दी। नए घातक परिणाम के बाद देश भर में मरने वालों की संख्या 4,83,463 हो गई है। इस बीच, ओमिक्रॉन मामलों की संख्या बढ़कर 3,071 हो गई है, जिनमें से 1,203 को अस्पतालों से छुट्टी दे दी गई है।
मंत्रालय के अनुसार, अब तक कुल 27 राज्यों ने नए वेरिएंट की सूचना दी है।

भारत की रिकवरी रेट 97.30 प्रतिशत है। देश में साप्ताहिक पॉजिटिविटी रेट बढ़कर 5.66 प्रतिशत हो गई है, जबकि दैनिक पॉजिटिविटी रेट 9.28 प्रतिशत रही है। पिछले 24 घंटों में 90 लाख से अधिक वैक्सीन खुराक के प्रशासन के साथ, भारत का कोविड टीकाकरण कवरेज शनिवार सुबह तक 150.61 करोड़ तक पहुंच गया। मंत्रालय के अनुसार 17.88 करोड़ से अधिक शेष और अप्रयुक्त खुराक अभी भी राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों के पास उपलब्ध हैं।


 

Created On :   8 Jan 2022 3:19 PM IST

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