खाद्य और ईंधन संकट को देखकर यूएन ने दिया रूस पर लगाये गये प्रतिबंधों में ढिलाई का संकेत
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- यूएन महासचिव गत माह रूस और यूक्रेन के दौरे पर गये थे
डिजिटल डेस्क, नई दिल्ली। संयुक्त राष्ट्र के महानिदेशक एंटोनियो गुटेरस ने वैश्विक खाद्य और ईंधन संकट पर काबू पाने के लिये रूस और बेलारूस पर लगाये गये प्रतिबंधों में कुछ ढिलाई दिये जाने के संकेत दिये हैं। सुरक्षा परिषद को गुरुवार को संबोधित करते हुये संरा महासचिव ने कहा, मैं यहां यह स्पष्ट कर देना चाहता हूं कि वैश्विक खाद्य संकट से निपटने के अर्थपूर्ण समाधान के लिये यूक्रेन के कृषि उत्पादों तथा रूस और बेलारूस के खाद्य उत्पादों एवं उर्वरक को वैश्विक बाजार में दोबारा लाना जरूरी है।
उन्होंने कहा, मैं ऐसा करने के लिये बातचीत शुरू करने में हरसंभव मदद करूंगा। बाजार में खाद्य उत्पादों और ऊर्जा की अबाध आपूर्ति सुनिश्चित करने के लिये तत्काल और निर्णायक कदम उठाने होंगे। निर्यात प्रतिबंधों को हटाकर और जिन्हें जरूरत हो उनके लिये भंडार तथा अधिशेष (सरप्लस) का आवंटन कर तथा खाद्य कीमतों की बढ़ती कीमत पर लगाम लगाकर बाजार में जारी उथलपुथल पर काबू पाया जा सकता है।
यूएन महासचिव गत माह रूस और यूक्रेन के दौरे पर गये थे। उसके बाद वह पश्चिमी अफ्रीकी देश सेनेगल, नाइजर और नाइजीरिया भी गये, जहां उन्होंने कहा, मैंने नेताओं और सिविल सोसाइटी से खुद सुना है कि किस तरह युद्ध खाद्य सुरक्षा संकट पैदा कर रहा है। यूक्रेन पर रूस के हमले के बाद से उस पर कई प्रतिबंध लगाये गये हैं। रूस पर लगाये गये वित्ताय प्रतिबंधों के कारण उसका खाद्यान्न निर्यात संकट में पड़ गया है। इसी तरह उर्वरक की आपूर्ति का संकट भी गहरा गया है।
विश्व खाद्य कार्यक्रम (डब्ल्यूएफपी) के मुख्य अर्थशास्त्री आरिफ हुसैन ने बुधवार को चेतावनी दी थी कि उर्वरक की किल्लत से अगले सीजन में खाद्यान के उत्पादन पर बुरा प्रभाव पड़ेगा, जिससे खाद्य संकट की स्थिति और भी बदतर हो जायेगी। संयुक्त राष्ट्र में अमेरिका की स्थायी प्रतिनिधि लिंडा थॉमस-ग्रीनफील्ड ने रूस पर आरोप लगाया है कि उसने यूक्रेन के बंदरगाहों को बंद कर खाद्य संकट को बढ़ा दिया है।
लिंडा ने कहा कि रूस सक्रिय रूप से यूक्रेन के खाद्य उत्पादन को रोक रहा है और साथ ही उसने बंदरगाहों को बंद कर दिया है। अमेरिका इस अवरोध को हटाने की दिशा में काम कर रहा है। उन्होंने कहा कि सभी देशों को अकाल की स्थिति से बचाव के लिये आगे आना होगा और मानवता तथा मर्यादा के नाम पर अधिक खाद्यान्न तथा फंड मुहैया कराना होगा। कुल गेहूं निर्यात में 30 प्रतिशत हिस्सा रूस और यूक्रेन का है।
यूएन महासचिव ने सुरक्षा परिषद को बताया कि वह यूक्रेन के युद्धक्षेत्र में भी गये थे, जहां हमले जारी हैं। उन्होंने बताया कि मारियूपोल से 480 लोग सुरक्षित निकल पाये हैं और अभी और लोग वहां से निकल रहे हैं। उन्होंने कहा कि उन्हें उम्मीद है कि रूस और यूक्रेन नागरिकों को सुरक्षित निकालने के लिये आपसी समन्वय जारी रखेंगे। महासचिव ने कहा कि उन्होंने रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन से कहा है कि यूक्रेन पर हमला संयुक्त राष्ट्र के चार्टर का उल्लंघन है।
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Created On :   6 May 2022 4:01 PM IST