ओमिक्रॉन मामलों का पता लगाने के लिए तालिबान सरकार ने किया डब्ल्यूएचओ से संपर्क
- देश में ऐसे उपकरण नहीं हैं जिससे ओमिक्रॉन पता लगाया जा सके
डिजिटल डेस्क, काबुल। अफगानिस्तान में तालिबान के नेतृत्व वाली सरकार ने कहा कि देश के पास कोई भी ऐसे उपकरण नहीं हैं जिससे ओमिक्रॉन वैरिएंट के मामलों का पता लगा सकें। वहीं, तालिबानी सरकार ने विश्व स्वास्थ्य संगठन (डब्ल्यूएचओ) से कहा है कि वह तेजी से फैल रहे नए कोविड वैरिएंट की जांच के लिए परीक्षण मशीनें उपलब्ध कराए।
टोलो न्यूज की रिपोर्ट के अनुसार, अफगानिस्तान के साथ सीमा साझा करने वाले दो देशों, पाकिस्तान और ईरान दोनों ने नए वैरिएंट के मामलों की पुष्टि की है। लोक स्वास्थ्य मंत्रालय (एमओपीएच) के प्रवक्ता जावेद हजर ने बुधवार को कहा, हमने डब्ल्यूएचओ से संपर्क किया है और उन्होंने जनवरी 2022 के अंत तक इन मशीनों को उपलब्ध कराने का वादा किया है।
इस बीच, स्वास्थ्य कर्मियों ने कहा है कि वायरस के खिलाफ लड़ाई को नजरअंदाज नहीं किया जाना चाहिए क्योंकि अफगानिस्तान इस समय आर्थिक और राजनीतिक चुनौतियों से जूझ रहा है। एक डॉक्टर अहमद जवाद फरदीन ने कहा, अर्थव्यवस्था और राजनीतिक समस्याओं के कारण कोविड-19 को नजरअंदाज करते हुए यहां इसे गंभीरता से नहीं लिया गया। देश में संकट तब आएगा जब ओमिक्रॉन के मामलों में वृद्धि होगी।
डब्ल्यूएचओ के आंकड़ों के अनुसार, अफगानिस्तान ने अब तक 7,355 मौतों के साथ कोविड-19 के 1,57,998 मामले दर्ज किए हैं, जबकि कुल 46,74,518 लोगों ने वैक्सीन की डोज ले ली है।
(आईएएनएस)
Created On :   30 Dec 2021 10:30 AM IST