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फैक्ट चेक: तिब्बत-भारत सीमा पर आए भूकंप का नहीं है ये वीडियो, रिवर्स सर्च में पता चली सच्चाई
- हाल में आए भूकंप के नाम पर पुरानी वीडियो वायरल
- साल 2015 की है घटना
- लोग हाल की घटना समझ कर वीडियो कर रहे शेयर
डिजिटल डेस्क, नई दिल्ली। सोशल मीडिया पर एक वीडियो तेजी से वायरल हो रहा है। क्लिप में चौराहे पर भूकंप को आते हुए देखा जा सकता है। जैसे ही लोगों को भूकंप के झटके महसूस होते हैं वैसे वहां अफरा-तफरी मच जाती है। यूजर्स इसी वीडियो को शेयर कर दावा कर रहे हैं कि यह वीडियो तिब्बत-नेपाल बॉर्डर पर आए भूकंप की है। आपको बता दें कि, यह दावा पूरी तरह फर्जी है। यह क्लिप हाल-फिलहाल की नहीं बल्कि साल 2015 की है।
क्या हो रहा है वायरल?
'Virendra Nikub' नामक फेसबुक यूजर ने 7 जनवरी को वायरल वीडियो अपने अकाउंट पर शेयर कर लिखा- “भूकंप- तिब्बत नेपाल सीमा पे आये 7.1 तीव्रता के भूकंप में जानमाल का भारी नुक्सान हुआ है। प्राप्त खबरों के अनुसार अब तक 32 लोगों की मौत हुई है। सैकड़ों इमरतें ढह गयीं हैं। भूकंप के ये झटके तिब्बत, सिक्किम, नेपाल, दिल्ली , NCR , बिहार , असम और बंगाल मे भी भूकंप के तगड़े झटके महसूस किये गए भूकंप का केंद्र नेपाल का लोबुचे था।
क्या है वायरल वीडियो के पीछे की सच्चाई?
वायरल वीडियो की सच्चाई पता लगाने के लिए हमने क्लिप के स्क्रीनशॉट निकाले और उन्हे गूगल लेंस की मदद सर्च किया। ऐसा करने पर हमें 'WildFilmsIndia' नाम का यूट्यूब चैनल मिला जहां यह वीडियो 17 जून 2021 को शेयर की गई थी। वीडियो के डिस्क्रिप्शन में दी गई जानकारी के मुताबिक यह भूकंप साल 2015 में आया था। वीडियो को अपलोड कर लिखा गया कि- त्रिपुरेश्वर चौक, काठमांडू का एक व्यस्त स्थान है, जहां 2015 में आए शक्तिशाली भूकंप से कुछ क्षण पहले तक बिना रुके यातायात चलता रहता था। झटकों के दबाव में सजावटी संरचना ढह जाती है। वाहन भूकंप की दिशा में बेकाबू हो जाते हैं, जबकि पैदल यात्री भूकंप को झेलने के लिए किसी व्यक्ति या चीज़ को पकड़ने की कोशिश करते हैं। कुछ सेकंड की उलझन के बाद निवासी सार्वजनिक स्थान पर इकट्ठा होते हैं।
Created On :   10 Jan 2025 4:28 PM IST