सिंगरौली: 1500 आंगनबाड़ियों के लिए खरीदे गए चम्मच, जग और करछी की होगी जांच, मंत्री भूरिया ने दिए जांच के आदेश

1500 आंगनबाड़ियों के लिए खरीदे गए चम्मच, जग और करछी की होगी जांच, मंत्री भूरिया ने दिए जांच के आदेश

डिजिटल डेस्क, भोपाल। सिंगरौली जिले में महिला एवं बाल विकास विभाग के डीपीओ राजेश गुप्ता द्वारा जिले की 1500 आंगनबाड़ियों के लिए डीएमएफ फंड से खरीदे गए चम्मच, जग और करछी की जांच होगी। गुरुवार को विभागीय मंत्री निर्मला भूरिया ने प्रमुख सचिव को इस खरीदी की जांच के आदेश जारी किए। जांच में गर्वनमेंट ई-मार्केटप्लेस (जेम पोर्टल) के विशेषज्ञों को भी रखने को कहा है, ताकि क्रय प्रक्रिया में हुई अनियमितता सामने आ सके। छत्तीसगढ़ की जय माता दी ट्रैडर्स से सिंगरौली डीपीओ राजेश गुप्ता ने 4 करोड़ 98 लाख 88 हजार 33 रुपए की चम्मच, जग और करछी खरीदी है, जबकि इस बजट में 7 आइटम खरीदने की विभाग ने एनओसी दी थी। इस खरीदी में जय माता दी ट्रैडर्स के नवीन सोनी और रीतेश मेहता ने जिला प्रशासन के साथ मिलकर जिले की सभी आंगनबाड़ियों में सप्लाई होने वाले 7 बर्तनों में कटौती कर मात्र चम्मच, जग और करछी ही सप्लाई की है। ये तीनों ही आइटम वर्क ऑर्डर के अनुसार मनमाने दामों पर खरीदे गए हैं। बताया जा रहा है कि तीनों आइटम महज 1 करोड़ के भी नहीं हैं, लेकिन इन्हें लगभग 5 करोड़ में लिया गया है।

इन बिंदुओं पर होगी जांच

जांच में पांचों बिंदुओं को शामिल कर, विभागीय मुख्यालय स्तर के वरिष्ठ अधिकारियों, रीवा संभाग के राजस्व आयुक्त के द्वारा जांच करवाई जाएगी। जांच में जेम पोर्टल के क्रय प्रक्रिया के विशेषज्ञों को भी शामिल किया जाएगा। मंत्री ने अतिशीघ्र जांच रिपोर्ट मांगी है। मंत्री निर्मला भूरिया ने कहा है कि अनियमितता सामने आने पर उत्तरदायित्व तय कर विभागीय अधिकारी-कर्मचारियों पर कठोर कार्रवाई की जाए।

1- जिला कार्यक्रम अधिकारी सिंगरौली राजेश गुप्ता द्वारा आईएसआई मार्क वाले बर्तन खरीदने की अनुमति ली और बिना आईएसआई मार्क वाले बर्तन खरीद लिए?

2- क्रय आदेश मात्र 3 आइटम का दिया गया है अथवा समस्त 7 आइटम का। क्या शेष आइटम का क्रय आदेश नहीं दिया गया?

3- क्या क्रय आदेश में प्रति नग उल्लेखित राशि और डीपीओ द्वारा मप्र जन सम्पर्क / महिला एवं बाल विकास विभाग को दी गई जानकारी में भिन्नता है?

4- क्या डीपीओ सिंगरौली द्वारा जनसम्पर्क विभाग एवं विभाग मुख्यालय को सही जानकारी दी गई या त्रुटिपूर्ण - अथवा अधूरी जानकारी दी गई?

5- क्या सम्पूर्ण क्रय प्रक्रिया पारदर्शिता से की गई अथवा नहीं?

जिले के अन्य अफसरों पर भी संदेह

नाम न बताने के अनुरोध पर एक अधिकारी ने बताया कि सिंगरौली में जिले के सभी विभागों की फाइलें और सभी टेंडर कलेक्टर के बंगले से तैयार हो रहे हैं। बंगले पर राज्य और गुजरात-छत्तीसगढ़ सहित अन्य राज्यों के व्यापारी पहुंचते हैं। मनमाफिक शर्तें टेंडर में जोड़वाते हैं और मनमाफिक दामों पर डीएमएफ फंड के टेंडर जारी होते हैं। बताया जा रहा है कि सरकारी अधिकारियों के आईडी पासवर्ड वेंडरों के पास होते हैं।

Created On :   23 Jan 2025 7:28 PM IST

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