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अंतरराज्यीय गिरोह के सदस्यों को पुलिस ने दबोचा ,अलग-अलग शहरों में करते हैं चोरी
डिजिटल डेस्क, नागपुर। अंतराज्यीय गिरोह के दाे सदस्यों से चोरी के दो प्रकरणों का पर्दाफाश हुआ है। दिन में आरोपी कार में ही सोते थे और रात में चोरी की घटनाओं को अंजाम देते थे। पीसीआर की अवधि खत्म होने पर उन्हें सक्करदरा पुलिस ने अदालत में पेश किया। अदालत ने उन्हें जेल भेज दिया है। आरोपी सिकंदर सैयद अख्तर (38), मोहम्मदिया कालोनी, बीड़ और फिरोज रहमान शेख (31), घोड़ेगांव, तहसील नेवासा, जिला अहमदनगर निवासी है। दोनों आरोपी अंतरराज्यीय स्तर पर चोरी में सक्रिय गिरोह के सदस्य हैं।
नागपुर में उन्होंने व्यापारी सतीश खंडेलवाल (70), सुर्वे ले-आउट निवासी छोटा ताजबाग और विलास वाघाये (50), रेशमबाग निवासी के घर में 22 और 23 अगस्त की रात चोरी की थी। बरामद सीसीटीवी फुटेज के आधार पर पुलिस ने राज्य के बाहर भी उनके फुटेज भेज दिए थे। जिससे आरोपी अंतरराज्यीय गिरोह के सदस्य होने का पुलिस को पता चला। गिरोह में करीब 8 से 10 लोग हैं, जो अलग-अलग शहरों में जाकर चोरी की घटनाओं को अंजाम देते थे। गत एक महीने से आरोपियों ने नागपुर शहर के सक्करदर, हुड़केश्वर वाठोड़ा क्षेत्र को अपना निशाना बना रखा था। घटनाओं को अंजाम देने के लिए गिरोह का फरार मुखिया अशफाक गिरोह के केवल दो ही सदस्यों को चोरी करने के लिए कार क्र.-एम.एच.-16-बी.जेड.-37 86 से शहर में भेजता था। इसके बाद कार चालक फिरोज बड़ा ताजबाग में कार खड़ी कर सो जाता था, जबकि दोनों आरोपी चोरी की घटना को अंजाम देने के बाद कार के पास पहुंच जाते थे।
रात में होटल में भोजन कर कार में ही सो जाते थे। घटना को अंजाम देने के लिए आरोपी खिड़की के ग्रिल निकाल कर घर मे प्रवेश करते थे और चोरी करते थे। जांच के दौरान पुलिस को आरोपियों के घरों का पता चला। इसके बाद आरोपियों के मोबाइल नंबर भी पुलिस के हाथ लगे। मोबाइल लोकेशन के अाधार पर आरोपी अहमदनगर के हाईवे मार्ग से 7 किमी दूर मित्र के खेत में छुपे होने का पता चला। रात के वक्त पुलिस ने घुटने तक पानी और कीचड़ होने के बाद भी खेत में प्रवेश किया और दोनों आरोपियों को गिरफ्तार करने में सफलता प्राप्त की। आरोपियों से 80 हजार का सोना, एक कार, दो मोबाइल सहित कुल सवा छह लाख रुपए का माल बरामद किया है। पीसीआर की अवधि खत्म होने पर आरोपियों को अदालत में पेश किया गया। उन्हें जेल भेज दिया गया है। उपायुक्त निर्मलादेवी के मार्गदर्शन में निरीक्षक अजीद सिद, निरीक्षक चंद्रकांत यादव, उप-निरीक्षक दिगांबर राठोड़, संजय सोनवने, आनंद गांजुर्ले, रशीद शेख और मनोज ढाले ने कार्रवाई में हिस्सा लिया।
चेन्नई भागने की थी योजना
पुलिस के हाथ लगने से पूर्व आरोपियों की चेन्नई भागने की योजना थी, लेकिन इसके पूर्व ही उन्हें दबोच लिया गया। शहर में लगभग 8 से 10 चोरियों को उन्होंने अंजाम दिया है, मगर कहां-कहा चोरी की, यह आरोपियों को पता नहीं है।
पूरी जानकारी लेकर करते थे चोरी
पता चला है कि, आरोपियों को शहर की पूरी मालूमात नहीं होने से वे एक ही परिसर में चोरियां करते थे। चूंकि उन्हें भटकने का डर रहता था। इसलिए एक ही परिसर में चोरी कर वापस चले जाते थे। घटना के पूर्व उनका एक साथी जिस परिसर में चोरी करना है, उस परिसर को देखा जाता था।
Created On :   21 Sept 2019 1:54 PM IST