किसान बोले आश्वासन नहीं पेंच नहरों का काम चाहिए

Farmers said, no assurance, work of canals is needed
किसान बोले आश्वासन नहीं पेंच नहरों का काम चाहिए
सिवनी किसान बोले आश्वासन नहीं पेंच नहरों का काम चाहिए

डिजिटल डेस्क, सिवनी । पांच दिनों से पेंच परियोजना की नहरों के विस्तार और अधूरे काम को पूरा करने की मांग को लेकर किसानों का रविवार को धरना जारी रहा। अब तो किसान आंदोलन को बड़ा रूप लेने की बात कह रहे हैं। उनका कहना है कि अधिकारियों का आश्वासन नहीं बल्कि मौके पर काम होना चाहिए। पूर्व में  भी धरना प्रदर्शन किए लेकिन केवल आश्वासन हीं मिलता रहा। रविवार को सिंचाई विभाग के चीफ इंजीनियर शिशिर कुशवाहा कार्यालय के  अंदर बैठकर काम करते रहे जबकि बाहर किसानों का प्रदर्शन चलता रहा। कुछ किसान तो मैदानी अधिकारियों के साथ नहर पहुंचविहीन गांव भी पहुंचे।
इन गांवों में जाए पेंच नहर
किसानों का कहना है कि नहरों का एलायमेंट बदलकर अन्य गांवों से भी पेंच की नहरों को जोड़ा जाए। इसमें लूघरवाड़ा, बींझावाड़ा, कोहका, मानेगांव, बिठली, राघादेही, देवरी, सिमरिया, बलपुरा, कंडीपार, जमुनिया, डुंगरिया,डुंगरिया टोला, सिहोरा, थांवरीकला, सालीवाड़ा,घाटपिपरिया, जमुनिया, बिहीरिया,खामखरेली, कंजई, झीलपिपरिया, गहरूटोला, बरेलीपार रैयत, बरेलीपार माल, इंदावाड़ी, चुरनाटोला, बंजारी डुंगरिया, चीचबंद, छिंदबर्री, पाथरफोड़ी, करकोटी, रिंझाई, मेहराखापा, नयेगांव, मेहरापिपरिया, लुंगसा, भट्टेखारी, पखारा, विजयपानी, छीतापार,खमरिया, पद्दीकोना, कन्हानपिपरिया, भुरकुंडी, लिंगपानी, सालीवाड़ा, भोमा, भोमाटोला मुंडरई, रामाटोला, माहुलझिर, धनौरा, समनापुर, नांदखेड़ा, कटिया रमपुरी गांव शामिल हैं।
बांधों भी होंग रीजार्च
किसान रैतलाल शिवाले, विनायक डोंगरे, निवरी उईके, राफल खुशराम और ब्रजपाल उईके का कहना है कि नहरों का काम पूरा होना चाहिए।किसानो के अनुसार यदि नहर बनती है तो सागर जलाशय, चीचबंद जलाशय, गौशाला जलाशय, बम्होड़ी जलाशय, सुनेहरी जलाशय और ईंदावाड़ी जलाशय भी रीजार्च होंगे। इससे बांधों से जुड़े किसानों को भी पानी मिल पाएगा। नहर के पानी से जलस्तर भी सही होगा। जिन गांवों से नहर नहीं बनाई गई है वहां पर किसानों का हर  साल नुकसान होता है। किसानों की पानी की मांग पूरी नहीं हो रही है।
अधिकारियों ने दिया आश्वासन
चीफ इंजीनियर शिशिर कुशवाहा ने आश्वासन दिया कि किसानों की मांगों पर उचित कार्रवाई होगी। भीमगढ़ संजय सरोवर परियोजना से सिंचित रकबा जो बढ़ा दिया गया है उसकी मायनर लाइन को चौड़ा कर सीलन निकाली जाने की बात कही। जिन-जिन टेल एरिया में पानी नहीं पहुंच रहा है वहां पानी पहुंचाने की व्यवस्था ,पेंच व्यपवर्तन में पूर्व सर्वे के अनुसार काम करने और छुटे हुए गांव के सर्वे कराकर प्रस्ताव को भोपाल भेजने की बात कही। वहीं किसानों का कहना है कि  नहर शाखा डी 4 का सर्वे और नहर का पूर्ण कार्य और भीमगढ़ नहर दुरस्तीकरण जब तक नहीं होगा यह आंदोलन जारी रहेगा।

Created On :   2 May 2022 6:01 PM IST

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