डिपो की आय में गिरावट, यात्रियों की कमी से जूझ रहा व्यवस्थापन

Decline in income of Akola-Akot depot, administration struggling with lack of passengers
डिपो की आय में गिरावट, यात्रियों की कमी से जूझ रहा व्यवस्थापन
अकोला-अकोट डिपो की आय में गिरावट, यात्रियों की कमी से जूझ रहा व्यवस्थापन

डिजिटल डेस्क, अकोला. गांधीग्राम का पुल बंद होने के कारण यात्रियों को एक ओर परेशानी हो रही है तो दूसरी ओर निगम की आय में बडे पैमाने पर असर हुआ है। अकोला विभाग के अंतर्गत सबसे अधिक आय देने वाला अकोला अकोट मार्ग है। लेकिन पुल बंद हो जाने के कारण इस मार्ग से आवागमन की प्रक्रिया बंद कर दी है। केवल इस पुल से पैदल जाने वाले नागरिक से गुजर सकते हैं। आय बढाने के लिए डिपो प्रबंधन की ओर से अकोला से गांधीग्राम तथा गांधी ग्राम से अकोट जाने के लिए बस की व्यवस्था की गई है किंतु यात्रियों की कमी के कारण निगम प्रशासन ने बस की फेरियां कम कर दी है। 

निगम के अधिकारियों के अनुसार यदि निगम की बसों में यात्रा करने वाले यात्रियों की संख्या न के बराबर होने पर बस की फेरियां चलाना काफी दुश्वार होगा क्योंकि खाली बसें चलाने पर निगम को वाहन के रखरखाव, डिजल तथा कर्मचारियों के वेतन अदा करने होंगे। इन बसों से आय न होने की स्थिति में खाली बसों को मार्ग पर चलाने का कोई औचित्य दिखाई नहीं दे रहा है। 

दो चरणों में चल रही बसें 
अकोला से अकोट यातायात करने वाले यात्रियों को किसी तरह की परेशानी न हो इसके लिए निगम प्रशासन की ओर से व्यवस्था की गई है। अकोला के डिपो क्रमांक 1 व 2 से अकोला से गांधीग्राम तथा अकोट डिपो की ओर से गांधीग्राम से अकोट बस फेरियां चलाई जा रही है। अकोला से बस गांधीग्राम पहुंचने पर यात्रियों को पैदल चलकर पुल पार कर दूसरे छोर पर पहुंचना पड़ता है। वही अकोट से आने वाले यात्रियों को भी इस तरह दो चरणों में यात्रा करना पड़ता है। समय के अभाव में यात्री निगम के बसों की राह देखनी की बजाए अन्य वाहनों से अपने गंतव्य की ओर रवाना हो जाते हैं। 

50 प्रतिशत चल रही इस मार्ग पर बसें 

अकोला अकोट मार्ग पर स्थित गांधीग्राम के पास से बहने वाली पूर्णा नदी के ऊपर बना पुल क्षतिग्रस्त होने के कारण जिलाधिकारी के आदेश पर 18 अक्टूबर 2022 को मार्गक्रमण  बंद कर दिया है। इसके पूर्व निगम प्रशासन की ओर से इस मार्ग पर 120 फेरियां प्रतिदिन चलती थी। इन बसों में 5 हजार 40 यात्री मार्गक्रमण करते थे। लेकिन पुल बंद होने के कारण दूसरे मार्ग से बसें चलाई जा रही है। लेकिन यात्री न होने के कारण बस की फेरियां 120 से सिमट कर 60 करनी पड़ी है। क्योंकि यात्री न होने के कारण बस फेरियां कम करने का निर्णय लिया गया है। इन दिनों 60 फेरियों के माध्यम से प्रतिदिन बसें 2500 किलोमीटर का अंतर तय कर रही है। 

 

Created On :   28 Dec 2022 5:31 PM IST

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