अखिल भारतीय ओद्योगिक प्रदर्शनी का आगाज,100 स्टॉल के साथ हुई थी शुरूआत
डिजिटल डेस्क, हैदराबाद। सूर्यप्रकाश तिवारी। हर साल आयोजित होने वाली अखिल भारतीय ओद्योगिक प्रदर्शनी की शुरुआत इस बार जोरदार तरीके से हुई। हालांकि इसे नुमाईश के नाम से भी जाना जाता है। केंद्र और राज्य सरकार से सम्बंधित संस्थाओं के अलावा देशभर से आने वाले व्यापारी यहां अपने स्टॉल लगा रहे हैं। तेलंगाना के उपमुख्यमंत्रियों कड़ियम श्रीहरि और महमूद अली ने इस नुमाईश का आगाज करते हुए कहा कि प्रदर्शन समिति द्वारा चलाए जा रहे 18 शिक्षण संस्थानों को बेहतर बनाने के लिए सरकार हरसंभव सहायता देने को तैयार है। साल 1938 में 100 स्टॉल के साथ उसकी शुरूआत हुई थी, जहां अब 2500 स्टॉल लगे हैं।
देशभर के व्यापारियों को मिला प्लेटफार्म
उत्तर प्रदेश, मध्य प्रदेश, तमिलनाडु से लेकर कश्मीर तक देशभर से तकरीबन हर राज्य से छोटे बड़े कारीगर यहां आए हैं। सभी व्यापारी इस प्रदर्शनी में भाग लेकर सीधे उपभोक्ता तक अपनी पहुंच बना रहे हैं। प्रदर्शनी में छोटे व्यापारियों के लिए समयानुसार अनुबंध होता है। खास बात है कि यहां मौजूद 80 प्रतिशत दुकानें पिछले 50 साल से लगाईं जा रही हैं। वर्ष 1938 में उस्मानिया स्नातक संघ द्वारा तत्कालीन निजाम सरकार के सहयोग से 10 दिवसीय स्थानीय प्रदर्शनी के रूप में प्रारंभ हुई प्रदर्शनी आज बड़ा रूप ले चुकी है।
यहां सभी को लिए है कुछ न कुछ
यह प्रदर्शनी जहां एक ओर व्यापारियों और कारीगरों के लिए आय का खास साधन बन गई है। तो वहीं दूसरी ओर प्रदर्शनी समिति द्वारा चलाए जा रहे शिक्षण संस्थान न्यूनतम शुल्क में महिला शिक्षा को बढ़ावा भी दे रहे हैं। जिनमें दो स्कूलों के साथ-साथ 14 स्नातक और स्नातकोत्तर कॉलेज भी शामिल हैं। जहां तकरीबन 30 हजार छात्र -छात्राएं पढ़ते हैं। इस प्रदर्शनी में इलेक्ट्रॉनिक, वस्त्र, फर्नीचर, खिलौने जैसे उत्पादों के अलावा सरकारी निजी बैंको बीमा कंपनियों के अलावा केंद्र और राज्य सरकार की संस्थाओं एचपी गैस, विजय डेयरी आदि ने भी अपने अपने स्टॉल लगाए हैं। 15 फरवरी तक चलनेवाली प्रदर्शनी बच्चो से लेकर बुजुर्गो तक सभी के लिए आकर्षण का केंद्र होती है।
Created On :   2 Jan 2018 5:38 PM IST