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Nagpur News: लाडली बहन के लिए 1400 कराेड़ रुपए पीडब्ल्यूडी को 7490 करोड़ का प्रस्ताव
- सरकार ने पेश कीं 35,788 करोड़ रुपए की पूरक मांगें
- मांगों पर 19 दिसंबर को सभागृह में चर्चा होगी
- लाडली बहन योजना के तहत महिलाओं को 1500 रुपए के स्थान पर 2100 रुपए प्रतिमाह दिए जाएंगे
Nagpur News योगेश चिवंडे/ रघुनाथसिंह लोधी . शीतसत्र के पहले दिन सोमवार को राज्य सरकार ने वित्तीय वर्ष 2024-25 के लिए 35,788.40 करोड़ रुपए की पूरक मांगें पेश की हैं। इनमें मुख्यमंत्री लाडली बहन योजना के लिए 1400 करोड़ रुपए और सर्वाधिक सार्वजनिक निर्माण कार्य विभाग के लिए 7490.24 करोड़ रुपए की मांग की गई है। विधानसभा में मंत्री उदय सामंत ने पूरक मांगें पेश कीं। यह सरकार द्वारा बजटीय आवंटन के लिए मांगी गई अतिरिक्त राशि है। इन मांगों पर 19 दिसंबर को सभागृह में चर्चा होगी। चुनाव के पहले यह भी घोषणा की गई थी कि लाडली बहन योजना के तहत महिलाओं को 1500 रुपए के स्थान पर 2100 रुपए प्रतिमाह दिए जाएंगे। पूरक मांग में 8862.42 रुपए अनिवार्य खर्च, 21,691.87 करोड़ रुपए योजना कार्यक्रम और 5234.11 करोड़ रुपए केंद्र सरकार की योजनाओं में राज्य सरकार के सहयोग के लिए मांगे गए हैं।
इन कामाें के लिए मांगी गई निधि
- केंद्र सरकार की योजनाओं के लिए राज्य सरकार की विशेष आर्थिक सहायता अंतर्गत 50 वर्ष के लिए बिन ब्याज कर्ज - 3717.29 करोड़
- मुख्यमंत्री बलिराजा बिजली सहायता योजना - 3050 करोड़
- विविध पाटबंधारे महामंडल को सहायता - 1908 करोड़
- सार्वजनिक निर्माण कार्य विभाग अंतर्गत सड़क व पुल निर्माण के लिए एशियाई विकास बैंक से आर्थिक सहायता - 1500 करोड़
- मुख्यमंत्री लाडली बहन योजना - 1400 करोड़
- मोदी आवास घरकुल योजना - 1250 करोड़
- मुंबई मेट्रो के लिए सहायता - 1212.52 करोड़
- पात्र सहकारी शक्कर कारखानाें को मार्जिन मनी लोन के लिए - 1204.58 करोड़
- मेडिकल कालेज के लिए - 1170 करोड़
- लघु, मध्यम व बड़े उद्योगों के लिए - 1000 करोड़
- प्रधानमंत्री आवास योजना ग्रामीण एसटी घटक - 817 करोड़
- प्रधानमंत्री फसल बीमा योजना - 814 करोड़
- मुंबई, पुणे, नागपुर मेट्रो रेल प्रकल्प को मुद्रांक शुल्क अधिभार - 778.54 करोड़
- दूध अनुदान योजना - 758.96 करोड़
- विमुक्त भटक्या जनजाति वर्ग के विद्यार्थियों को छात्रवृत्ति - 758.54 करोड़
- प्रधानमंत्री कुसुम योजना - 605 करोड़
- मुख्यमंत्री अन्नपूर्णा योजना-514 करोड़
- राष्ट्रीय ग्रामीण आरोग्य अभियान - 483.74 करोड़
- समृद्धि महामार्ग - 400 करोड़
- बलिराजा जलजीवन योजना - 386.45 करोड़
- आंगनवाड़ी कर्मचारी मानधन व भत्ता - 290 करोड़
महफिल में नहीं रहेंगे : मुख्यमंत्री ने प्रसिद्ध तबला वादक जाकिर हुसैन के निधन पर गहरी संवेदना व्यक्त करते हुए उन्हें श्रद्धांजलि दी। उन्होंने कहा, जाकिर हुसैन के जाने से संगीत क्षेत्र में बड़ी हानि हुई हैै। तबला वादन को अंतरराष्ट्रीय पहचान देने का काम उन्होंने किया। अब उनकी ताल तो सुनाई देगी, लेकिन महफिल में वह नहीं रहेंगे।
संविधान का अपमान सहन नहीं चर्चा के लिए तैयार : फडणवीस : शीत सत्र के पहले दिन सोमवार को विधानसभा और विधान परिषद में बीड़ और परभणी का प्रकरण गूंजा। कांग्रेस सदस्य नाना पटोले ने प्रकरण को लेकर सरकार की भूमिका स्पष्ट करने का निवेदन किया। जवाब में मुख्यमंत्री फडणवीस ने कहा कि इस संबंध में सरकार विस्तृत चर्चा के लिए तैयार है। विधानसभा अध्यक्ष जिस दिन तय करेंगे, उस दिन इस प्रकरण पर पूरी चर्चा की जाएगी। दोनों घटनाएं गंभीर हैं। परभणी की घटना को लेकर मुख्यमंत्री ने कहा, संविधान का अपमान सहन नहीं किया जाएगा। प्रकरण में जिसने अपमान किया वह मनोरोगी है, फिर भी उस पर कार्रवाई की गई है। किसी घटना को लेकर संवैधानिक प्रतिक्रिया सामने आनी चाहिए, लेकिन विपक्ष से निवेदन है कि ऐसे मामलों को लेकर राजनीति न करे। कानून व्यवस्था कायम रखने के लिए आवश्यक निर्देश दिए गए हैं।
35 मिनट चला विधानसभा का कामकाज, 8 विधेयक हुए पेश : अधिवेशन के पहले दिन विधानसभा और विधान परिषद में 35 मिनट कामकाज हुआ। सुबह 11 बजे सभा आरंभ हुई। इस बीच, 8 विधेयक पेश किए गए। 35,788 करोड़ की पूरक मांगें पेश की गईं। राष्ट्रगीत और राज्यगीत के साथ सभा शुरू हुई। उसके बाद मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस ने तीन विधानसभा सदस्य व सभी मंत्रियों का परिचय कराया। मंत्री उदय सामंत ने पूरक मांगें पेश कीं। मंत्री चंद्रकांत पाटील ने विधेयक पेश किए। परभणी व बीड़ प्रकरण को लेकर विपक्ष के सदस्यों ने सभा को गर्माने का प्रयास किया, लेकिन विधानसभा अध्यक्ष नार्वेकर ने नियमों का हवाला देते हुए इन प्रकरणों पर चर्चा की अनुमति नहीं दी। मंत्रियों को विभाग का आवंटन नहीं हो पाया है, लिहाजा कामकाज के मामले में मंत्री उदय सामंत व चंद्रकांत पाटील ने सभागृह में कमान संभाली। बजट या पूरक मांग वित्त विभाग से संबंधित विषय है, लेकिन पूरक मांग मंत्री सामंत ने पेश की। शिवसेना (शिंदे) कोटे के मंत्री सामंत पिछली सरकार में उद्योग मंत्री थे। वित्त विभाग राकांपा के पास था। दावा किया जा रहा है कि इस बार भी वित्त विभाग राकांपा के पास ही रहेगा।
विपक्ष के सदस्यों के साथ भुजबल व वलसे पाटील : राकांपा के सदस्य छगन भुजबल व दिलीप वलसे पाटील विपक्ष के सदस्यों के साथ बैठे थे। विपक्ष में पहली कतार में शिवसेना उद्धव गुट के सुनील प्रभु, कांग्रेस के नाना पटोले और विजय वडेट्टीवार के बाद भुजबल व पाटील बैठे। पिछली सरकार में दोनों मंत्री थे।
Created On :   17 Dec 2024 1:06 PM IST