बिफरे निरुपम: बची-खुची शिवसेना प्रमुख ने आघाडी का उम्मीदवार घोषित कर दिया, सीटों का नहीं हुआ बंटवारा

बची-खुची शिवसेना प्रमुख ने आघाडी का उम्मीदवार घोषित कर दिया, सीटों का नहीं हुआ बंटवारा
  • मुंबई की लोकसभा सीटों पर चर्चा अभी जारी- गायकवाड़
  • ठाकरे ने मुंबई उत्तर-पश्चिम सीट पर उम्मीदवारी घोषित की तो बिफरे संजय निरुपम

डिजिटल डेस्क, मुंबई. उत्तर-पश्चिम लोकसभा सीट से शिवसेना (उद्धव) पक्ष प्रमुख उद्धव ठाकरे द्वारा उम्मीदवार घोषित करने के बाद अब महाविकास आघाडी गठबंधन में दूरियां बढ़ती हुई दिखाई दे रही हैं। उद्धव ठाकरे ने शनिवार को उत्तर-पश्चिम सीट से मौजूदा सांसद और एकनाथ शिंदे के नेता गजानन कीर्तिकर के बेटे अमोल कीर्तिकर के नाम का ऐलान किया था। अब इस सीट से कांग्रेस के लिए दावा ठोक रहे पूर्व सांसद संजय निरुपम ने ठाकरे पर निशाना साधा है। निरूपम ने रविवार को उद्धव ठाकरे के ऐलान के बाद खुलकर नाराजगी जताते हुए कहा कि शनिवार शाम बची-खुची शिवसेना के प्रमुख ने उत्तर-पश्चिम लोकसभा सीट से आघाडी का उम्मीदवार घोषित कर दिया है। निरुपम ने कहा कि जब आघाडी में सीटों के बंटवारे पर कोई फैसला ही नहीं हुआ है तो ऐसे में उम्मीदवार की घोषणा करना क्या गठबंधन धर्म का उल्लंघन नहीं है? निरुपम ने कहा कि क्या यह कांग्रेस को नीचा दिखाने के लिए ऐसी हरकत जानबूझकर की जा रही है।

महाराष्ट्र में महाविकास आघाडी के तीनों दल कांग्रेस, शिवसेना (उद्धव) और राकांपा (शरद) आगामी लोकसभा चुनाव लड़ने को हरी झंडी दे चुके हैं, लेकिन सीटों के बंटवारे को लेकर अभी भी तीनों दलों में खींचतान जारी है। इन सब के बीच ठाकरे ने शनिवार को जैसे ही मुंबई की उत्तर-पश्चिम लोकसभा क्षेत्र से आघाडी से अमोल कीर्तिकर की उम्मीदवारी का ऐलान किया तो कांग्रेस आग बबूला हो गई। इस सीट से लोकसभा चुनाव की ताल ठोक रहे संजय निरुपम ने कहा कि आघाडी में पिछले काफी समय से सीटों के बंटवारे को लेकर दो दर्जन से ज्यादा बैठक हो चुकी हैं, लेकिन सीटों के बंटवारे पर अभी तक अंतिम निर्णय नहीं हुआ है। निरूपम ने कहा कि 8-9 सीटें अभी भी ऐसी हैं जिन पर तीनों ही दलों में बात नहीं बन सकी है। उन्होंने कांग्रेस के शीर्ष नेतृत्व से इस मामले में हस्तक्षेप की मांग करते हुए आरोप लगाया कि शिवसेना (उद्धव) की तरफ से जिस उम्मीदवार का नाम प्रस्तावित है उस पर मनपा में कोरोना काल के दौरान खिचड़ी घोटाले में शामिल होने और रिश्वत लेने का आरोप है। निरुपम ने सवाल उठाते हुए कहा कि इस घोटाले की ईडी जांच कर रही है। क्या ऐसे घोटालेबाज उम्मीदवार के लिए कांग्रेस और शिवसेना के कार्यकर्ता प्रचार करेंगे? दोनों पार्टियों के नेतृत्व से विनम्रता पूर्वक मेरा यह सवाल है।

उधर संजय निरुपम द्वारा अमोल कीर्तिकर की उम्मीदवारी पर सवाल उठाने पर उद्धव गुट के प्रवक्ता आनंद दुबे ने पलटवार करते हुए कहा कि मुंबई उत्तर-पश्चिम लोकसभा की सीट हमारी है। हम आज उम्मीदवार उतारें या कल यह हमारा अधिकार है। संजय निरूपम को इस बारे में कांग्रेस पार्टी से बातचीत करनी चाहिए न की सोशल मीडिया पर। दुबे ने कहा कि अब कांग्रेस उन्हें कितनी गंभीरता से लेती है, वह उनका अंदरूनी मामला है।

मुंबई की लोकसभा सीटों पर चर्चा अभी जारी- गायकवाड़

उधर मुंबई कांग्रेस अध्यक्ष वर्षा गायकवाड ने उद्धव गुट द्वारा मुंबई की उत्तर-पश्चिम सीट से उम्मीदवारी जाहिर करने पर निशाना साधते हुए कहा कि मुंबई में लोकसभा सीटों के बंटवारे को लेकर अभी भी तीनों पार्टियों में चर्चा जारी है। जो की अंतिम चरण में है। अभी सीटों के बंटवारे को लेकर कोई फैसला नहीं हुआ।

शिंदे और उद्धव के लिए उत्तर-पश्चिम सीट बनी सिरदर्द

मुंबई की उत्तर-पश्चिम लोकसभा सीट मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे और पूर्व मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे के लिए सिरदर्द बनी हुई है। शिवसेना में हुई बगावत के बाद उत्तर-पश्चिम सीट से शिवसेना (अविभाजित) के सांसद गजानन कीर्तिकर ने शिंदे गुट का दामन थाम लिया था। हालांकि उनके बेटे अमोल कीर्तिकर ने अपने पिता का विरोध करते हुए उद्धव गुट में ही रहने का फैसला किया था। खबर है कि अमोल को टिकट देने के लिए उद्धव ठाकरे ने वचन दिया था कि आगामी लोकसभा चुनाव में उन्हें उत्तर-पश्चिम लोकसभा सीट से उम्मीदवारी देंगे। यही कारण रहा कि ठाकरे ने सबसे पहले उन्हीं के नाम पर मुहर लगाई है। महायुति में शिंदे गुट भी उत्तर-पश्चिम लोकसभा सीट भाजपा से अपने कोटे के चलते मांग रहा है, लेकिन खबर है कि इस सीट से भाजपा अपना उम्मीदवार उतारने की तैयारी में है। इसी सीट से पिछले दो लोकसभा के चुनाव कांग्रेस की ओर से संजय निरुपम लड़ चुके हैं, लेकिन दोनों ही चुनावों में उन्हें गजानन कीर्तिकर ने भारी अंतर से हराया था।

Created On :   11 March 2024 4:41 PM IST

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