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Mumbai News: मुख्यमंत्री फडणवीस की महत्वाकांक्षी जलयुक्त शिवार योजना का काम फिर तेजी से होगा शुरू
![मुख्यमंत्री फडणवीस की महत्वाकांक्षी जलयुक्त शिवार योजना का काम फिर तेजी से होगा शुरू मुख्यमंत्री फडणवीस की महत्वाकांक्षी जलयुक्त शिवार योजना का काम फिर तेजी से होगा शुरू](https://www.bhaskarhindi.com/h-upload/2025/02/09/1401924-1.avif)
- सेटेलाइट मैप के जरिए पुराने कार्यों का किया जा रहा है अवलोकन
- मुख्यमंत्री फडणवीस की महत्वाकांक्षी जलयुक्त शिवार योजना
- जलयुक्त शिवार योजना का काम फिर तेजी से शुरू होगा
- सामाजिक संगठनों के साथ मिलकर शुरू हुआ था काम
Mumbai News. राज्य सरकार ने मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस की महत्वाकांक्षी योजना जलयुक्त शिवार का काम फिर से बड़े पैमाने पर शुरू करने की तैयारियों की शुरुआत कर दी है। मुख्यमंत्री कार्यालय के एक अधिकारी ने 'दैनिक भास्कर' से बातचीत में कहा कि जब साल 2014 में फडणवीस ने मुख्यमंत्री पद की जिम्मेदारी संभाली थी तो उसके बाद राज्य के मराठवाड़ा और कई सूखाग्रस्त क्षेत्रों में जलयुक्त शिवार योजना को शुरू किया गया। लेकिन जैसे ही साल 2019 में उद्धव ठाकरे राज्य के मुख्यमंत्री बने तो उन्होंने इस योजना को बंद करने के साथ-साथ इस पर जांच भी बैठा दी। हालांकि राज्य में 2022 में जैसे ही एकनाथ शिंदे के नेतृत्व में सरकार बनी तो उसके बाद इस योजना को दोबारा से शुरू किया गया। अब खबर है कि बड़े पैमाने पर महाराष्ट्र के कई जिलों के उन हजारों गांव की रूपरेखा तैयार करनी शुरू कर दी है, जहां पर पानी की समस्या बहुत ज्यादा है।
मुख्यमंत्री कार्यालय के अधिकारी के अनुसार मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस के एक करीबी अधिकारी को इस योजना को फिर से बड़े पैमाने पर शुरू करने के लिए निगरानी के लिए लगाया गया है। शुरुआती तौर पर पिछले अभियान के तहत जिन जिलों और गांव को सूखा मुक्त बनाने के लिए जलयुक्त शिवार योजना शुरू की गई थी, वहां के नदी, नालों, नहरों एवं तालाबों को पुनर्जीवित करने के लिए पहले सैटेलाइट तस्वीरों के जरिए उनका डाटा इकट्ठा किया जा रहा है। उसके बाद उन्हें किस तरह से सुधारा जा सकता है, इसको लेकर फैसला लिया जाएगा। वैसे मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे ने साल 2022 में राज्य की कमान संभाली तो सरकार स्थापित होने के बाद मंत्रिमंडल की पहली ही बैठक में जलयुक्त शिवार योजना शुरू करने का फैसला लिया था। क्योंकि महाविकास आघाडी की सरकार ने इन इस योजना को बंद करने के साथ-साथ उसकी जांच कराने का भी फैसला किया था। सरकार का इस बार भी ज्यादा फोकस मराठवाड़ा और विदर्भ पर ही रहेगा।
सामाजिक संगठनों के साथ मिलकर शुरू हुआ था काम
देवेंद्र फडणवीस ने जब साल 2014 में राज्य की कमान संभाली थी तो कई सामाजिक संगठनों के साथ मिलकर लगभग सूख गए नदी, नालों, नहरों एवं तालाबों को पुनर्जीवित करने का काम शुरू किया था। इस योजना के तहत महाराष्ट्र के करीब 25 हजार गांवों को सूखा मुक्त करने का लक्ष्य रखा गया था। जिसमें पहले चरण में करीब 22 हजार से ज्यादा गांव में पानी मुहैया कराया गया था। इस कार्य में फिल्म अभिनेता आमिर खान और नाना पाटेकर के एनजीओ की भी मदद ली गई थी।
ठाकरे सरकार ने बैठा दी थी जांच
फडणवीस की इस महत्वाकांक्षी योजना से विपक्ष पूरी तरह से वाकिफ था। यही कारण था कि साल 2019 में जैसे ही राज्य में महाविकास आघाडी की सरकार बनी तो तत्कालीन मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे ने फडणवीस के ड्रीम प्रोजेक्ट की जांच एंटी करप्शन ब्यूरो (एसीबी) से कराने का फैसला लिया था। ठाकरे सरकार ने उस समय दावा किया था कि इस योजना के अंतर्गत भ्रष्टाचार की शिकायत मिली थी, जिसके बाद इस योजना की जांच कराने का फैसला किया गया।
क्यों अहम है जलयुक्त शिवार योजना
जलयुक्त शिवार योजना को साल 2019 में फडणवीस ने अपने मुख्यमंत्री के पहले कार्यकाल में शुरू किया था। इस योजना के अंतर्गत 2019 तक महाराष्ट्र को सूखा मुक्त बनाने की योजना बनाई गई थी और इसको लेकर भाजपा ने जमकर प्रचार भी किया था। इस योजना का उद्देश्य मराठवाडा, विदर्भ, पश्चिम महाराष्ट्र और दूसरे सूखाग्रस्त के इलाकों के 5 हजार गांव में पानी की कमी को दूर करना था। इस योजना के तहत सूखाग्रस्त क्षेत्रों को ध्यान में रखकर वहां तक पानी पर्याप्त मात्रा में उपलब्ध हो सके, इसको लेकर योजना बनाई गई थी। किसानों की बढ़ती आत्महत्याओं के चलते जलयुक्त शिवार योजना शुरू करने का फैसला किया गया था।
Created On :   9 Feb 2025 8:27 PM IST