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Mumbai News: मैं तो शपथ लेने वाला हूं, शिंदे साहब का पता नहीं- अजित पवार
- शिंदे और अजित दोनों ने प्रेस कांफ्रेंस में ली एक दूसरे की चुटकी
- दोनों राज्य की महायुति सरकार में शामिल होने जा रहे
- फडणवीस ने कहा कि शिंदे ने ही मेरे नाम की मुख्यमंत्री पद के लिए सिफारिश की
Mumbai News मुंबई में राज्यपाल सी पी राधाकृष्णन के समक्ष सरकार बनाने का दावा पेश करने के बाद राज्य के कार्यवाहक मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे और नामित मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस एवं अजित पवार ने बुधवार को साझा प्रेस कांफ्रेंस कर सरकार बनाने के दावे के साथ-साथ राज्य सरकार के पिछले ढाई साल के कार्यों की जानकारी दी। प्रेस कॉन्फ्रेंस में शपथ ग्रहण को लेकर शिंदे और अजित ने एक दूसरे की चुटकी भी ली। दरअसल प्रेस कॉन्फ्रेंस में एक पत्रकार ने शिंदे से सवाल पूछा कि क्या वह भी उपमुख्यमंत्री पद की शपथ लेंगे तो इस पर अजित ने बीच में टोकते हुए कहा कि शिंदे का शाम तक पता चलेगा लेकिन मैं तो गुरूवार को उपमुख्यमंत्री पद की शपथ लेने वाला हूं। इसी बीच शिंदे ने अजित की ओर देखते हुए कहा कि दादा को सुबह और शाम को शपथ लेने का अनुभव है। इस पर प्रेस कॉन्फ्रेंस में जोर-जोर से ठहाके लगने लगे।
दरअसल प्रेस कॉन्फ्रेंस में जब देवेंद्र फडणवीस से पूछा गया कि मुख्यमंत्री पद के उम्मीदवार का फैसला हो चुका है, क्या एकनाथ शिंदे भी उपमुख्यमंत्री पद की शपथ लेंगे। इस पर फडणवीस ने कहा कि मैंने शिंदे से मंत्रिमंडल में शामिल होने की गुजारिश की है, लेकिन उन्होंने बुधवार शाम तक अपना फैसला बताने को कहा। इस बीच जब यही सवाल शिंदे से पूछा गया कि क्या वह फडणवीस के मंत्रिमंडल में शामिल होंगे तो शिंदे ने कहा कि मैं शाम तक बताता हूं। इसी बीच शिंदे बोल ही रहे थे कि अजित पवार ने बीच में टोकते हुए कहा कि शिंदे साहब का शाम तक पता चलेगा लेकिन मैं तो गुरुवार को उपमुख्यमंत्री पद की शपथ लेने वाला हूं। जिस पर शिंदे ने अजित के सुबह और शाम शपथ लेने के अनुभव की बात कह डाली। जिससे प्रेस कॉन्फ्रेंस में मौजूद लोग हंसने लगे।
दरअसल साल 2019 में जब महायुति को बहुमत मिला था लेकिन शिवसेना (अविभाजित) ने कांग्रेस और राकांपा (अविभाजित) के साथ सरकार बनाने की पहल शुरू कर दी थी। इसी दौरान देवेंद्र फडणवीस और अजित पवार ने सुबह सबेरे 8 बजे मुख्यमंत्री और उपमुख्यमंत्री पद की शपथ ले ली थी। हालांकि यह सरकार कुछ घंटे ही चल सकी। इसके बाद फडणवीस को इस्तीफा देना पड़ा था। इसके बाद राज्य में उद्धव ठाकरे के नेतृत्व में महाविकास आघाडी की सरकार बनी थी, जो ढाई साल ही चल सकी थी। लेकिन साल 2022 में एकनाथ शिंदे ने उद्धव ठाकरे से बगावत कर भाजपा को समर्थन दे दिया था। हालांकि भाजपा ने एकनाथ शिंदे को मुख्यमंत्री बनाकर अपने विरोधियों को चुप करने का काम किया था। हालांकि अभी स्थिति बदल चुकी है। शिंदे गुट और अजित गुट फिलहाल भाजपा के साथ हैं और दोनों राज्य की महायुति सरकार में शामिल होने जा रहे हैं।
महायुति में मुख्यमंत्री टेक्निकल पद है- फडणवीस : देवेंद्र फडणवीस ने कहा कि महायुति में मुख्यमंत्री का पद टेक्निकल पद है। जिसको लेकर युति में अच्छा समन्वय है। फडणवीस ने कहा कि दरअसल शिंदे ने ही मेरे नाम की मुख्यमंत्री पद के लिए सिफारिश की थी। इससे बड़ी बात और कुछ नहीं हो सकती है।
Created On :   4 Dec 2024 7:52 PM IST