आठवीं तक की किताबों में खाली पन्नों के इस्तेमाल पर बालभारती ने दिए सुझाव

आठवीं तक की किताबों में खाली पन्नों के इस्तेमाल पर बालभारती ने दिए सुझाव
  • नोट बुक की जरूरत नहीं होगी खत्म
  • आठवीं तक की किताबों में खाली पन्नों का इस्तेमाल
  • बालभारती ने दिए सुझाव

डिजिटल डेस्क, मुंबई। महाराष्ट्र बोर्ड के स्कूलों में पढ़ने वाले विद्यार्थियों के बस्ते का बोझ कम करने के लिए इस साल से किताबों के साथ खाली पन्ने जोड़े गए हैं। पहली बार जोड़े जा रहे इन पन्नों का इस्तेमाल किस तरह करना है, इसके लिए बालभारती ने कुछ सुझाव जारी किए हैं। यह सुझाव बालभारती के संचालक कृष्णकुमार पाटील ने दिए हैं। उन्होंने स्पष्ट किया है कि इन पन्नों के चलते नोटबुक का इस्तेमाल बिल्कुल बंद नहीं हो जाएगा। किताब के साथ जोड़े गए पन्ने का इस्तेमाल विद्यार्थी पढ़ाई के दौरान नोट्स तैयार करने के लिए कर सकेंगे, जबकि उत्तर, होमवर्क आदि लिखने के लिए नोटबुक का इस्तेमाल करना पड़ेगा। सरकारी स्कूलों में सभी विद्यार्थियों को स्कूल के पहले दिन पाठ्यपुस्तकें दी जाएंगी। इस साल दूसरी कक्षा से आठवीं कक्षा तक सिर्फ चार पाठ्यपुस्तकें होंगी।

खाली पन्नों के इस्तेमाल के सुझाव

शिक्षकों से कहा गया है कि वे हर विद्यार्थी को एक जैसी चीजें नोट करने का आग्रह न करें। विद्यार्थियों से कहा गया है कि वे इन पन्नों पर तारीख के मुताबिक चीजें लिखें, पढ़ाई के दौरान आए अहम मुद्दे, अतिरिक्त जानकारी, पढ़ाई के दौरान उपजे सवाल, संबंधित चित्र बनाने, उदाहरण आदि नोट करने के लिए इनका इस्तेमाल कर सकते हैं। कच्चे (रफ) वर्क के लिए पेंसिल का इस्तेमाल का सुझाव दिया गया है।

क्या हैं फायदे

पढ़ाई के दौरान विद्यार्थी लिखे गए नोट्स का इस्तेमाल कर सकते हैं। पढ़ाई के दौरान लिखी गई बातें पढ़ने से विद्यार्थी बेहतर तैयारी कर सकेंगे। अपने शब्दों में नोट तैयार करने से परीक्षा के दौरान लिखने का अभ्यास होगा। इससे चीजें याद करने में आसानी होगी। परीक्षा की तैयारी करने में आसानी होगी और नोट्स खोजने नहीं पड़ेंगे।

Created On :   7 Jun 2023 9:34 PM IST

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