शिक्षा: चंद्रपुर में जिला परिषद की 24 शालाओं में सेमी इंग्लिश कक्षाएं होंगी शुरू

चंद्रपुर में जिला परिषद की 24 शालाओं में सेमी इंग्लिश कक्षाएं होंगी शुरू
  • सेमी-अंग्रेजी कक्षाएं शुरू करने की उठ रही थी मांग
  • विद्यार्थियों को विभिन्न प्रतियोगी परीक्षाओं में मिलेगा लाभ
  • शिक्षाधिकारी ने दी हरी झंडी

डिजिटल डेस्क, चंद्रपुर। शैक्षणिक सत्र 2024-25 से जिला परिषद, चंद्रपुर के अंतर्गत कुल 24 जिला परिषद स्कूलों में सेमी अंग्रेजी कक्षाएं शुरू करने की अनुमति दी गई है। जिला परिषद प्रबंधन के तहत प्राथमिक और उच्च प्राथमिक के साथ-साथ माध्यमिक विद्यालयों में छात्रों की संख्या को ध्यान में रखते हुए, माता-पिता अपने बच्चों को अंग्रेजी माध्यम के स्कूलों में दाखिला दिलाते हैं।

इसलिए स्कूल प्रबंधन समिति की ओर से जिला परिषद स्कूलों में सेमी-अंग्रेजी कक्षाएं शुरू करने की मांग की गई थी। उक्त मांग को ध्यान में रखते हुए और अंग्रेजी भाषा की तत्कालिकता को ध्यान में रखते हुए, सत्र 2024-25 से कुल 24 जिला परिषद स्कूलों को विभिन्न कक्षाओं के लिए अर्ध-अंग्रेजी कक्षाएं शुरू करने की अनुमति दी गई है। विज्ञान एवं गणित विषय अंग्रेजी माध्यम से पढ़ाये जायेंगे और इसका लाभ जिला परिषद के विद्यार्थियों को विभिन्न प्रतियोगी परीक्षाओं में मिलेगा, ऐसी जानकारी शिक्षणाधिकारी प्राथमिक ने दी।

संकट में फंसे आदिवासी किसानों की मदद के लिए आगे आया प्रकल्प कार्यालय : आदिवासी विकास परियोजना चंद्रपुर कार्यालय एक ऐसे किसान की सहायता के लिए आया, जिसके खेत में गौशाला में आग लगने के कारण बकरियां और मुर्गियां जल गईं और अनाज का नुकसान हुआ। साथ ही कार्यालय की ओर से तत्काल पहल करते हुए उक्त किसान को एक लाख रुपये की मदद की गयी। कोरपना तहसील के खिर्डी ग्राम पंचायत अंतर्गत निज़ामगोंदी के किसान कर्णु वाघु मडावी की गौशाला में आग लग गई। इस भीषण हादसे में 20 बकिरयां और दो बछड़ों समेत 30 मुर्गियां मर गईं। यह घटना रविवार 9 जून 2024 की रात करीब 8.30 बजे हुई। इस आग में दो क्विंटल गेहूं, चावल, 25 पीवीसी पाइप, दस बोरा खाद व कृषि सामग्री जल गयी। अनुमान है कि करीब 5 लाख का नुकसान हुआ है। घटना की जानकारी मिलने पर एकीकृत आदिवासी विकास परियोजना के अधिकारी विकास राचेलवार ने कार्यालय से निरीक्षकों को घटना स्थल पर जाने का आदेश दिया। उसके मुताबिक इंस्पेक्टर ने किसान कर्णु वाघु मडावी से मुलाकात की और उस जगह की घटना का पूरा जायजा लिया। इसके बाद परियोजना अधिकारी ने कार्यालय स्टाफ, छात्रावास, शासकीय आश्रम शाला एवं कार्यालय के अंतर्गत आने वाले समस्त कार्यालय स्टाफ से उक्त किसान की आर्थिक मदद करने का अनुरोध किया।

इस हिसाब से कर्मचारियों ने एक दिन में कुल 51,500 रुपये का राहत कोष इकट्ठा किया। साथ ही आपातकालीन/प्राकृतिक/अमानवीय परिस्थितियों में अनुसूचित जनजाति के लोगों को तदर्थ समिति की अनुशंसा के अनुसार 50 हजार तक की वित्तीय सहायता प्रदान करने हेतु योजना के तहत तत्काल 50 हजार स्वीकृत किये गये। इस प्रकार 14 जून को उक्त किसान को कुल 1 लाख 1 हजार 500 रूपये की आर्थिक सहायता दी गई। इस अवसर पर परियोजना अधिकारी विकास राचेलवार, सहायक परियोजना अधिकारी डी.के.टिंगुसले, गिरीश पोल, लेखा अधिकारी संजय जगताप, आदिवासी विकास निरीक्षक अमोल नवलकर उपस्थित थे।

Created On :   15 Jun 2024 3:57 PM IST

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