उम्मीदवारी न मिलने से नाराज भाजपा सांसदों का गुस्सा होने लगा शांत

उम्मीदवारी न मिलने से नाराज भाजपा सांसदों का गुस्सा होने लगा शांत

Bhaskar Hindi
Update: 2019-03-29 05:35 GMT
उम्मीदवारी न मिलने से नाराज भाजपा सांसदों का गुस्सा होने लगा शांत

डिजिटल डेस्क, मुंबई।  लोकसभा चुनाव में टिकट कटने की नाराजगी के बाद अब भाजपा के वर्तमान सांसदों के तल्ख तेवर ढीले पड़ते नजर आ रहे हैं। शिवसेना के उस्मानाबाद के सांसद रवींद्र गायकवाड़ की भी नाराजगी दूर हो गई है। हालांकि अहमदनगर के भाजपा सांसद दिलीप गांधी के बेटे सुवेंद्र गांधी अब भी नामांकन पत्र दाखिल करने पर अड़े हुए हैं। 

लोकसभा चुनाव के लिए भाजपा ने महाराष्ट्र के अपने 6 सांसदों का टिकट काटा है। जबकि शिवसेना ने अपने सिर्फ एक सांसद की उम्मीदवारी नकारी है। गुरुवार को सोलापुर के भाजपा सांसद शरद बनसोडे ने ‘दैनिक भास्कर’ से बातचीत में कहा कि मैं टिकट कटने से नाराज नहीं हूं। मेरा पार्टी को पूरा समर्थन रहेगा। मुझे पार्टी जो भी जिम्मेदारी देगी उसका निर्वहन करने के लिए तैयार हूं। बनसोडे ने कहा कि पार्टी के आंतरिक सर्वे में मुझे 52 अंक मिले थे। जिसके बाद मुझे इस बार लोकसभा चुनाव में टिकट नहीं देने की जानकारी दे दी गई थी। 

पुणे से भाजपा सांसद शिरोले बने रहेंगे पार्टी में  
पुणे से भाजपा सांसद अनिल शिरोले पहले ही स्पष्ट कर चुके हैं कि वे पार्टी के साथ रहेंगे। टिकट कटने के बाद शिरोले भाजपा के पुणे के उम्मीदवार व कैबिनेट मंत्री गिरीश बापट से मुलाकात भी की थी। वहीं लातूर सीट से भाजपा सांसद डॉ. सुनील गायकवाड़ ने टिकट कटने के लिए अप्रत्यक्ष रूप से जिले के पालक मंत्री संभाजी पाटील-निलंगेकर को जिम्मेदार बताया है। इसपर मंत्री पाटील-निलंगेकर ने कहा है कि गायकवाड़ को मना लिया जाएगा। दूसरी तरफ जलगांव के भाजपा सांसद एटी नाना पाटील की नाराजगी बनी हुई है। पाटील ने फिर से उम्मीदवारी न मिलने के लिए भाजपा नेता व कैबिनेट मंत्री गिरीश महाजन को जिम्मेदार ठहाराया है। 

पिता को उचित सम्मान नहीं तो लड़ना  तय : सुवेंद्र गांधी
अहमदनगर के भाजपा सांसद दिलीप गांधी के बेटे सुवेंद्र गांधी ने कहा कि मेरे निर्दलीय चुनाव लड़ने की घोषणा के बाद से भाजपा के नेता मेरे पिता पर दबाव बना रहे हैं। भाजपा नहीं चाहती है कि मैं निर्दलीय चुनाव लड़ू। सुवेंद्र ने कहा कि अहमदनगर सीट से भाजपा उम्मीदवार सुजय विखे पाटील के पिता विधानसभा में विपक्ष के नेता राधाकृष्ण विखे पाटील ने सांसद गांधी से मुलाकात कर उन्हें समझाने की कोशिश की है। लेकिन मैं अभी भी चुनाव लड़ने पर अड़ा हूं।

सुवेंद्र ने कहा कि भाजपा के बाकी कार्यकर्ताओं की तरह मैं भी चौकन्ना चौकीदार हूं। यदि पार्टी ने मेरे पिता को उचित सम्मान नहीं दिया तो मैं किसी भी हालत में लोकसभा चुनाव लडूंगा। सुवेंद्र ने कहा कि मेरे पिता तीन बार सांसद रहे हैं। भाजपा प्रदेश अध्यक्ष रावसाहब दानवे ने 8 मार्च को खुद मेरे घर पर आकर चुनाव की तैयारी करने को कहा था। लेकिन 4 दिनों में पता नहीं क्या हुआ? भाजपा ने सुजय विखे पाटील को भाजपा में शामिल कर लिया। सांसद गांधी का टिकट काटते समय उन्हें विश्वास में नहीं लिया गया। 

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