कर्नाटक का लक्ष्य 2025 तक जैव-अर्थव्यवस्था मूल्य को दोगुना कर 50 अरब डॉलर करना

कर्नाटक कर्नाटक का लक्ष्य 2025 तक जैव-अर्थव्यवस्था मूल्य को दोगुना कर 50 अरब डॉलर करना

Bhaskar Hindi
Update: 2022-03-22 19:00 GMT
कर्नाटक का लक्ष्य 2025 तक जैव-अर्थव्यवस्था मूल्य को दोगुना कर 50 अरब डॉलर करना
हाईलाइट
  • भविष्य के विकास को गति

डिजिटल डेस्क, बेंगलुरु। कर्नाटक सरकार बायोफार्मास्युटिकल्स और चिकित्सा उपकरणों के क्षेत्र में निवेश को बढ़ावा देने के लिए केंद्र सरकार की उत्पादन-लिंक्ड प्रोत्साहन (पीएलआई) योजना का लाभ उठाने की योजना बना रही है। सूचना प्रौद्योगिकी-जैव प्रौद्योगिकी, उच्च शिक्षा और विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी मंत्री सी.एन. अश्वथ नारायण ने मंगलवार को यह बात कही।

एसोसिएशन ऑफ बायोइकोनॉमी लेड एंटरप्राइजेज (एबीएलई) द्वारा आयोजित बायोइकोनॉमी 2025 एंड बियॉन्ड कार्यक्रम में भाग लेते हुए नारायण ने कहा, राज्य की बायोइकोनॉमी, जिसका मूल्य वर्तमान में 24.4 अरब डॉलर है, जो राष्ट्रीय हिस्सेदारी में 33 प्रतिशत का योगदान देता है, निश्चित रूप से 2025 तक 50 अरब डॉलर का मूल्य प्राप्त करने का लक्ष्य है।

जैव-नवीकरणीय, जैव-ऊर्जा, जैव ईंधन और हरित रसायनों से युक्त जैव-औद्योगिक खंड अगला बड़ा खंड होने की उम्मीद है, जो भविष्य के विकास को गति प्रदान कर सकता है। उन्होंने कहा कि इस खंड में राज्य की जैव-अर्थव्यवस्था में अपने योगदान को चार गुना बढ़ाकर 1-2 अरब डॉलर से 6-7 अरब डॉलर करने की क्षमता है। नारायण ने कहा, राज्य सरकार जैव-कृषि (कृषि और पशुपालन) और जैव-औद्योगिक (एंजाइम, जैव ईंधन, बायोमास और हरित रसायन) उद्योगों में निवेश आकर्षित करने के साथ-साथ जैव अर्थव्यवस्था की हिस्सेदारी बढ़ाने की योजना बना रही है। अनुसंधान और विकास सेवाएं, समुद्री बायोटेक और बायोआईटी और सूचना विज्ञान सेवाएं अगले कुछ वर्षो में कर्नाटक राज्य के लिए फोकस क्षेत्र होंगे।

यह कहते हुए कि कर्नाटक जैव ईंधन का तीसरा सबसे बड़ा उत्पादक है और उन राज्यों में जो 2021 में पेट्रोल के 9 प्रतिशत सम्मिश्रण तक पहुंच गया, उन्होंने कहा कि राज्य के बायोटेक उद्योग ने अनुसंधान एवं विकास खर्च में 18 करोड़ डॉलर को पार कर लिया है। मंत्री ने कहा कि कर्नाटक में 2021 में लगभग 95 बायोटेक स्टार्टअप स्थापित किए गए, औसतन हर महीने लगभग आठ स्टार्टअप। उन्होंने कहा कि कर्नाटक भारत में बायोटेक निवेश के लिए पसंदीदा स्थान के रूप में उभरा है। नारायण ने कहा, इस समय राज्य देश में लगभग 60 प्रतिशत बायोटेक कंपनियों की मेजबानी करता है और भारत के कुल बायोटेक कार्यबल का लगभग 54 प्रतिशत कार्यरत है।

 

(आईएएनएस)

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