UP power strike: निजीकरण के विरोध में हड़ताल पर बिजली कर्मचारी, नोएडा से बलिया तक कई जिलों की बत्ती गुल
UP power strike: निजीकरण के विरोध में हड़ताल पर बिजली कर्मचारी, नोएडा से बलिया तक कई जिलों की बत्ती गुल
डिजिटल डेस्क, लखनऊ। पूर्वांचल विद्युत वितरण निगम लिमिटेड के निजीकरण के खिलाफ आज (सोमवार, 5 अक्टूबर) उत्तरप्रदेश में बिजली विभाग के कर्मचारी-अधिकारी हड़ताल पर चले गए हैं। पूर्वी उत्तर प्रदेश के देवरिया, चंदौली, आजमगढ़, मऊ, मिर्जापुर समेत नोएडा से बलिया तक कई जिलों की बत्ती गुल हो गई है।
बता दें कि निजीकरण के विरोध में बिजली कर्मचारियों ने सोमवार पूरे दिन कार्य बहिष्कार किया। इस दौरान फॉल्ट की मरम्मत सहित उपभोक्ता सेवाओं से जुड़े कामकाज प्रभावित रहे। यहां तक कि ऊर्जा मंत्री के आवास सहित कई इलाकों में बिजली संकट रहा। इस बीच ऊर्जा प्रबंधन और जिला प्रशासन ने बिजली सप्लाई बहाल रखने के लिए पुलिस के पहरे के साथ कई वैकल्पिक इंतजाम किए, लेकिन फॉल्ट के आगे सभी फेल हो गए। इंटेलिजेंस की रिपोर्ट के मुताबिक, कर्मचारी किसी भी समय अनिश्चितकालीन हड़ताल और जेल भरो आंदोलन शुरू कर सकते हैं।
बिजली आपूर्ति पूरी तरह से ठप
हड़ताली कर्मचारियों ने बिजली विभाग के कार्यालय में दीवार पर लिखे गए अधिकारियों-कर्मचारियों के मोबाइल नंबर भी काली स्याही से मिटा दिए। जिला प्रशासन ने सभी उपकेंद्र पर अन्य विभागों के कर्मचारियों को तैनात किया है। दीनदयाल उपाध्याय नगर के चंदासी पावर हाउस पर तैनात लेखपाल त्रिलोकी नाथ ने कहा कि बिजली आपूर्ति पर नजर रखने के लिए भेजा गया, लेकिन यहां ताला लटका मिला। तैनात प्रोबेशन अधिकारी भी मौजूद हैं। बिजली की आपूर्ति पूरी तरह से ठप है।
कर्मचारियों की मांग, सरकार को संगठनों के साथ समझौते का पालन करना चाहिए
वहीं, हड़ताली कर्मचारियों का कहना है कि सरकार ने तानाशाही रवैया अपनाते हुए बिजली विभाग को निजी हाथों में सौंपने का जो फैसला किया है, वह सही नहीं है। हड़ताली कर्मचारियों ने सरकार को कर्मचारी संगठनों के साथ 5 अप्रैल 2018 को इस विषय पर हुए समझौते का पालन करना चाहिए। गौरतलब है कि ऊर्जा प्रबंधन को लेकर हुए इस समझौते में प्रावधान था कि निजीकरण से संबंधित कोई भी निर्णय लेने के पहले सरकार कर्मचारियों को विश्वास में लेगी और बिना विश्वास में लिए कोई भी फैसला नहीं करेगी।
आदेश वापस लिए जाने तक हम बहिष्कार करेंगे
विद्युत कर्मचारी संयुक्त संघर्ष समिति चंदौली के संयोजक नरेंद्र गोपाल शुक्ला ने आरोप लगाया कि सरकार कर्मचारियों को विश्वास में लिए बगैर पूर्वांचल विद्युत वितरण निगम का निजीकरण करने पर आमादा है। विद्युत इंजीनियर संघ के सर्वेश पांडेय ने कहा कि पूर्वांचल विद्युत वितरण निगम के निजीकरण का आदेश वापस लिए जाने तक हम कार्य बहिष्कार करेंगे।