रिश्वत लेते पकड़े गए सीएमओ, लेखापाल और उपयंत्री

- ठेकेदार से बिल पास कराने के एबज में मांगे थे 1 लाख रुपये रिश्वत लेते पकड़े गए सीएमओ, लेखापाल और उपयंत्री

Bhaskar Hindi
Update: 2021-09-21 16:02 GMT
रिश्वत लेते पकड़े गए सीएमओ, लेखापाल और उपयंत्री



डिजिटल डेस्क तेंदूखेड़ा/ दमोह। नगर परिषद तेंदूखेड़ा के सीएमओ और  लेखापाल को लोकायुक्त सागर ने मंगलवार की दोपहर नगर परिषद कार्यालय में १ लाख रुपए की रिश्वत लेते रंगेहाथ पकड़ा है। सीएमओ ने एक ठेकेदार से बिल पास करने के एवज में रिश्वत की मांग की जा रही थी। मामले में उपयंत्री के नाम की रिश्वत लेखापाल के पास से बरामद की गई है। साथ ही उन्हें भी प्रकरण में शामिल किया गया है। लोकायुक्त ने प्रकरण दर्ज कर विवेचना में लिया है।
लोकायुक्त डीएसपी राकेश खेड़े ने बताया कि १५ सितंबर को ठेकेदार बीएल बड़ेरिया ने शिकायत दर्ज कराई थी। जिसमें नगरपरिषद सीएमओ प्रकाश पाठक, लेखापाल जितेंद्र श्रीवास्तव और उपयंत्री अशोक शाह उसका बिल रोककर लगातार रिश्वत की मांग की जा रही है। साथ ही परेशान किया जा रहा है। मंगलवार को एक लाख रुपए देने की बात भी उसने बताई थी। जिस पर लोकायुक्त सागर ने पूरी तैयारी कर ली थी। कॉल रिकॉर्डिंग भी की जा चुकी थी। योजना के अनुसार मंगलवार की दोपहर करीब ३ बजे ठेकेदार बीएल बड़ेरिया १ लाख रुपए लेकर नगर परिषद कार्यालय पहुंचे। जहां उन्होंने ४० हजार रुपए सीएमओ, ३० हजार लेखापाल जितेंद्र श्रीवास्तव और उपयंत्री अशोक शाह की गैरमौजूदगी में उनके ३० हजार भी लेखापाल को दिए। इसी दौरान पहले से ही तैयार लोकायुक्त टीम ने छापामार कार्रवाई करते हुए सीएमओ और लेखापाल को पकड़ लिया।
डीएसपी ने बताया कि दोनों को रंगेहाथ पकड़े जाने के बाद परीक्षण किया गया। जिससे दोनों के हाथ लाल रंग से रंगे नजर आए। सीएमओ के पास से ४० हजार और लेखापाल के पास से ६० हजार रुपए जब्त किए गए। दोनों के विरुद्ध विभिन्न धाराओं के तहत प्रकरण दर्ज किया गया है। इसके अलावा उपयंत्री अशोक शाह को भी मामले में रखा गया है। फिलहाल वह परिषद में मौजूद नहीं थे। इसीलिए प्रकरण दर्ज नहीं किया गया है, लेकिन विवेचना और तथ्यों के आधार पर इनके विरुद्ध भी कार्रवाई होगी। कार्यवाही के दौरान टीम मेें डीएसपी के आलवा निरीक्षक केपी बेन, निरीक्षक अभिषेक, आशुतोष व्यास, विक्रम सींग, अरविंदर नायक की अहम भूमिका रही
े११ प्रतिशत चाहिए था कमीशन
शिकायतकर्ता ठेकेदार बीएल बड़ेरिया ने बताया कि उसने टैंडर प्रक्रिया के तहत शिक्षक कॉलोनी में सीसी रोड और नाली निर्माण का ठेका प्राप्त किया था। करीब ३१ लाख के इन कार्यों में से सीएमओ, उपयंत्री व लेखापाल द्वारा ११ प्रतिशत कमीशन की मांग की जा रही थी। जिसका उसके द्वारा विरोध किया गया तो उसका बिल रोक लिया गया। साथ ही लगातार परेशान किया जा रहा था। इससे परेशान होकर मामले की शिकायत लोकायुक्त में की थी। बड़ेरिया ने पहले भी सीएमओ व अन्य का रुपए बतौर रिश्वत देने की बात कही। साथ ही अन्य आरोप लगाए।
 

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