कर्नाटक में वक्फ बोर्ड की 2.35 लाख करोड़ रुपये की संपत्ति को कथित राजनेताओं ने लूटा : रिपोर्ट
कर्नाटक सियासत कर्नाटक में वक्फ बोर्ड की 2.35 लाख करोड़ रुपये की संपत्ति को कथित राजनेताओं ने लूटा : रिपोर्ट
डिजिटल डेस्क, बेंगलुरू। कर्नाटक राज्य अल्पसंख्यक आयोग द्वारा पहले पेश की गई एक रिपोर्ट में खुलासा हुआ था कि राज्य में वक्फ बोर्ड की 2.35 लाख करोड़ रुपये की संपत्ति को कथित राजनेताओं ने लूटा। हालांकि रिपोर्ट 2012 में प्रस्तुत की गई थी, कर्नाटक में लगातार राज्य सरकारों ने अनियमितताओं पर ध्यान नहीं दिया है। भाजपा की कर्नाटक इकाई के संयुक्त प्रवक्ता और राज्य अल्पसंख्यक आयोग के पूर्व अध्यक्ष अनवर मनिप्पडी ने मौजूदा मुख्यमंत्री बसवराज बोम्मई से रिपोर्ट के आधार पर आवश्यक कार्रवाई करने का आग्रह किया है।
125 पन्नों की रिपोर्ट और 13 खंड के दस्तावेज यह दर्शाते हैं कि वक्फ बोर्ड के स्वामित्व वाले कुल 54,000 एकड़ में से 29,000 एकड़ को राज्य के प्रमुख मुस्लिम नेताओं ने लूट लिया था। अनवर ने कहा कि राज्य अल्पसंख्यक आयोग की ओर से जारी रिपोर्ट पर पूर्व कर्नाटक मुख्यमंत्री बी.एस. येदियुरप्पा के कार्यकाल के दौरान कोई कार्रवाई नहीं हुई। अनवर ने कहा कि कर्नाटक के पूर्व मुख्यमंत्री बी.एस. येदियुरप्पा अब सच्चाई की तरफ बढ़ना चाहेंगे।
भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के विधायक बसनगौड़ा पाटिल यतनाल ने कहा है कि बोम्मई के नेतृत्व वाली सरकार को पूरी जांच के लिए वक्फ भूमि घोटाला मामले को केंद्रीय जांच ब्यूरो को सौंपना चाहिए। यतनाल के साथ, भाजपा विधायकों- रघुपति भट, संजीव मंथंडूर और वेदव्यासा कामत ने विधानसभा में इस मुद्दे पर चर्चा की मांग की। सत्तारूढ़ भाजपा सरकार ने कहा है कि वक्फ बोर्ड की संपत्ति के दुरुपयोग पर पूरी रिपोर्ट राज्य विधानसभा में पेश की जाएगी। मामले की जानकारी रखने वाले सूत्रों ने दावा किया कि कर्नाटक में वक्फ बोर्ड की जमीन पर कई व्यावसायिक परिसर, होटल, इंजीनियरिंग और मेडिकल कॉलेज बन गए हैं।
पूर्व राज्य अल्पसंख्यक आयोग के अध्यक्ष ने कहा, राज्य के शीर्ष मुस्लिम नेता जैसे जनता दल-सेक्युलर के अध्यक्ष सी.एम. इब्राहिम, दिवंगत कांग्रेस नेता कमर-उल-इस्लाम, राज्यसभा में विपक्ष के नेता मल्लिकार्जुन खड़गे, कांग्रेस नेता इकबाल अंसारी, पूर्व केंद्रीय मंत्री- जाफर शरीफ, रहमान खान और कर्नाटक के पूर्व मंत्री रोशन बेग कथित रूप से रैकेट में शामिल हैं। उन्होंने कहा कि उन्होंने रिपोर्ट की वैधता स्थापित करने के लिए उच्च न्यायालय और उच्चतम न्यायालय का दरवाजा खटखटाया था। उन्होंने कहा, अब, भाजपा सरकार को रिपोर्ट पर कार्रवाई शुरू करनी चाहिए। भाजपा के सूत्रों ने कहा कि पार्टी इस मामले को सतर्कता के साथ आगे बढ़ा रही है क्योंकि विधानसभा चुनाव भी नजदीक हैं।
(आईएएनएस)
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