राजनीति: देश के पहले गांव कौरिक और ग्यू तक मोबाइल नेटवर्क पहुंचा, पीएम मोदी ने ग्रामीणों से फोन पर साधा संपर्क
केंद्र की मोदी सरकार ने देश की सीमा पर बसे आखिरी गांव में नेटवर्क कनेक्टिविटी स्थापित कर बड़ी उपलब्धि हासिल की है। हिमाचल प्रदेश के लाहौल-स्पीति के कौरिक और ग्यू गांव में मोबाइल नेटवर्क स्थापित किया गया है। अहम बात है कि यह गांव चीन की सीमा के पास है जो समुद्र तल से 14,931 फीट ऊंचाई पर स्थित है।
नई दिल्ली, 18 अप्रैल (आईएएनएस)। केंद्र की मोदी सरकार ने देश की सीमा पर बसे आखिरी गांव में नेटवर्क कनेक्टिविटी स्थापित कर बड़ी उपलब्धि हासिल की है। हिमाचल प्रदेश के लाहौल-स्पीति के कौरिक और ग्यू गांव में मोबाइल नेटवर्क स्थापित किया गया है। अहम बात है कि यह गांव चीन की सीमा के पास है जो समुद्र तल से 14,931 फीट ऊंचाई पर स्थित है।
इतनी ऊंचाई पर बसे इन गांव में मोबाइल नेटवर्क कनेक्टिविटी पहुंचने के बाद यहां के स्थानीय लोगों से प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने गुरुवार को खुद फोन पर संपर्क किया और उनसे बातचीत की। इसका वीडियो भी सामने आया है।
पीएम मोदी ने स्पीति के ग्यू गांव के ग्रामीणों से बात करते हुए सबसे पहले उन्हें बधाई दी। साथ ही उन्होंने गांव वालों के लिए आज का दिन शुभ बताया।
पीएम मोदी ने कहा, "मैं यहां दीवाली पर भी आया था। आज लाहौल-स्पीति के दूर-सुदूर ग्यू गांव में पहली बार मोबाइल नेटवर्क पहुंचा है। इस गांव की भौगोलिक परिस्थितियां इतनी कठिन रही है कि यहां पर मोबाइल नेटवर्क पहुंचाना सबसे बड़ी चुनौती थी। इसका पता मुझे उस वक्त लगा था, जब मैं यहां आया था। तब, मैंने वहां के लोगों से कहा था कि मोबाइल नेटवर्क की कनेक्टिविटी के लिए जरूर कुछ ना कुछ करूंगा। वैसे वहां के कई लोग अपने परिवार वालों से दूर रहते हैं और उनको अपने परिवार से बात करने का मन करता होगा।"
इस दौरान पीएम मोदी ने ग्रामीणों से पूछा कि गांव में पहली बार मोबाइल नेटवर्क आने पर लोगों का रिएक्शन कैसा था? जिस पर ग्रामीणों ने कहा कि जब हम लोगों को पता चला कि यहां मोबाइल नेटवर्क आने वाला है तो सब बहुत ज्यादा उत्सुक हो गए थे। एक पल में हमें विश्वास ही नहीं हुआ कि यहां नेटवर्क आने वाला है। आपका यहां का दौरा बहुत प्रभावी रहा। इसके बाद से ही इस काम को 22 से 23 दिन के अंदर पूरा किया गया। उन्होंने बताया कि इसमें सेना और एयरटेल का सहयोग काफी रहा।
पीएम मोदी ने कहा कि सीमा के किनारे के गांव को पहले सरकार देश का आखिरी गांव मानती थी। लेकिन, हमारी सरकार ने उनको पहला गांव मानकर काम किया है। पहले की सरकारों ने बॉर्डर के किनारे गांवों को उनके नसीब पर छोड़ दिया था। हमारी सरकार वाइब्रेंट विलेज प्रोग्राम चला रही है। जिससे सीमा किनारे बसे गांव भी साधन से जुड़ सके। बातचीत के दौरान ग्रामीणों ने पीएम मोदी को दीवाली के मौके पर तीसरी बार यहां आने का न्यौता दिया। इस पर पीएम मोदी ने कहा कि ये आपका प्यार है कि मुझे यहां पर तीसरी बार बुला रहे हैं। मैं जरूर फिर से यहां आऊंगा।
उन्होंने कहा हमारी सरकार की प्राथमिकता इज ऑफ लिविंग है और तीसरे कार्यकाल में हमारी सरकार क्वालिटी ऑफ लाइफ पर ज्यादा जोर देगी। इसका बहुत बड़ा लाभ दूर-सुदूर के गांव में गरीब और मध्यम परिवार में बहुत बड़ा बदलाव आएगा।
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