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Update: 2020-08-30 08:57 GMT

डिजिटल डेस्क, श्रीनगर। पाकिस्तान की सेना ने जम्मू और कश्मीर के नौशेरा में लाइन ऑफ कंट्रोल (LOC) पर सीजफायर का उल्लंघन किया। भारतीय सेना ने इसका मुंहतोड़ जवाब दिया। इस दौरान नायब सूबेदार राजविंदर सिंह गंभीर रूप से घायल हो गए थे और बाद में उन्होंने इलाज के दौरान दम तोड़ दिया। भारतीय सेना में पीआरओ (रक्षा) लेफ्टिनेंट कर्नल देवेंद्र आनंद ने रविवार को इसकी जानकारी दी। डिफेंस पीआरओ ने कहा कि नायब सूबेदार राजविंदर सिंह एक बहादुर, मोटिवेटेड और ईमानदार सैनिक थे। राष्ट्र हमेशा उनके सर्वोच्च बलिदान और कर्तव्य के प्रति समर्पण के लिए उनका ऋणी रहेगा।

 

 

आतंकियों को बॉर्डर पार कराने के लिए लिए गोलीबारी
हाल ही में जम्मू एवं कश्मीर के पुलिस महानिदेशक (डीजीपी) दिलबाग सिंह ने एक इंटरव्यू में बताया था कि इस साल संघर्ष विराम उल्लंघन की घटनाएं बढ़कर 487 हो गईं। पिछले साल संघर्ष विराम उल्लंघन की 267 घटनाएं हुई थीं। पाकिस्तान की तरफ से संघर्ष विराम उल्लंघन की घटनाओं में बीते वर्ष के मुकाबले 75 फीसदी का उछाल आया है। दरअसल, आर्टिकल 370 हटाए जाने के बाद से पाकिस्तान हर संभव कोशिश कर रहा है कि जम्मू कश्मीर में अशांति फैलाई जाए और यहां के लोगों को भड़काया जाए। इसी मकसद से वह सीमा पार से  आतंकियों की घुसपैठ कराता है और सीजफायर का उल्लंघन कर आतंकियों को बॉर्डर पार करने में मदद करता है। 

इस साल अब तक 38 आतंकियों को 90 दिन के अंदर ढेर किया
डीजीपी के अनुसार, इस वर्ष अब तक आतंकवादी समूहों में कुल 80 लड़के शामिल हुए हैं और इनमें से 38 को आतंकवादी समूह में शामिल होने के पहले दिन से लेकर तीन महीने के अंदर मार डाला गया है। सिंह ने कहा कि इनमें से 22 को पकड़ लिया गया है, क्योंकि ये कुछ मामलों में संलिप्त थे और 20 आतंकवादी अभी भी सक्रिय हैं, जो सुरक्षा बलों की रडार पर हैं। सिंह के अनुसार, पुलिस ने लगभग आधा दर्जन एनकाउंटर में अभियान इसलिए रोक दिए, क्योंकि यह पता चला कि जहां आतंकी छिपे हुए हैं, उन परिसरों में अंदर बच्चे मौजूद हैं। उन्होंने कहा कि कुछ मामलों में हम आतंकियों के परिजनों को 20 किलोमीटर दूर से लेकर आए, ताकि वे उनकी अपील पर सरेंडर कर दें।

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