JDU: प्रशांत किशोर और पवन वर्मा निष्कासित, पार्टी विरोधी गतिविधियों में शामिल होने का आरोप

JDU: प्रशांत किशोर और पवन वर्मा निष्कासित, पार्टी विरोधी गतिविधियों में शामिल होने का आरोप

Bhaskar Hindi
Update: 2020-01-29 10:40 GMT
JDU: प्रशांत किशोर और पवन वर्मा निष्कासित, पार्टी विरोधी गतिविधियों में शामिल होने का आरोप
हाईलाइट
  • किशोर ने बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार को झूठा तक कह दिया था
  • जेडीयू नेता प्रशांत किशोर और पवन वर्मा को जेडीयू ने निष्कासित कर दिया
  • दोनों को पार्टी विरोधी गतिविधियों' में शामिल होने के आरोप में पार्टी से निष्कासित किया गया

डिजिटल डेस्क, नई दिल्ली। जनता दल यूनाइटेड (जेडीयू) नेता प्रशांत किशोर और पवन वर्मा को "पार्टी विरोधी गतिविधियों" में शामिल होने के आरोप में पार्टी से निष्कासित कर दिया गया है। पार्टी से निष्कासित किए जाने के बाद प्रशांत किशोर ने ट्वीट कर कहा, "धन्यवाद नीतीश कुमार। बिहार के मुख्यमंत्री की कुर्सी बरकरार रखने के लिए आपको मेरी शुभकामनाएं। गोड ब्लेस यू।" बता दें कि देश के जाने-माने चुनावी रणनीतिकार और जनता दल (युनाइटेड) के उपाध्यक्ष प्रशांत किशोर ने मंगलवार को अपनी ही पार्टी के अध्यक्ष नीतीश कुमार पर जोरदार निशाना साधा था। किशोर ने बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार को झूठा तक कह दिया था।

 

 

क्या कहा था प्रशांत किशोर ने?
प्रशांत किशोर ने अपने ट्वीटर हैंडल से मंगलवार की देर शाम ट्वीट करते हुए लिखा, "नीतीश कुमार, मुझे जद (यू) में क्यों और कैसे शामिल किया गया, इसपर झूठ बोलना दिखाता है आप गिर गए हैं। मुझे अपने जैसा बनाने की ये आपकी एक नाकाम कोशिश है। अगर आप सच बोल रहे हैं तो कौन यकीन करेगा कि आप में इतनी हिम्मत है कि आप उसकी बात नहीं सुनें जिसे अमित शाह ने आपकी पार्टी में शामिल करवाया।"

गौरतलब है कि इससे पूर्व दोपहर में नीतीश कुमार ने प्रशांत किशोर को अमित शाह के कहने पर जद (यू) में शामिल करने की बात कही थी। पटना में पत्रकारों द्वारा प्रशांत किशोर के विषय में पूछे जाने पर नीतीश ने कहा, जिसे जहां जाना है जाए। हमारे यहां ट्वीट के कोई मतलब नहीं हैं। जिसे ट्वीट करना है करे। हमारी पार्टी में बड़े और बुद्धिजीवी लोगों की जगह नहीं है। सब सामान्य और जमीनी लोग हैं।

क्या कहा था नीतीश कुमार ने?
नीतीश ने कहा, किसी को हम थोड़े पार्टी में लाए हैं। अमित शाह ने मुझे कहा प्रशांत किशोर को जद(यू) में शामिल करने के लिए तब मैंने उन्हें शामिल कराया। मुझे पता चला है कि पीके (प्रशांत किशोर) आम आदमी पार्टी के लिए रणनीति बना रहे हैं। ऐसे में अब उन्हीं से पूछना चाहिए कि वे जदयू में रहना चाहते हैं या नहीं।

प्रशांत किशोर दिल्ली में आम आदमी पार्टी के लिए काम कर रहे हैं। वे नागरिकता संशोधन कानून को जद (यू) के समर्थन दिए जाने से खासे नाराज हैं। सीएए, एनआरसी और एनपीआर को लेकर प्रशांत लगातार भाजपा और उसके नेताओं पर निशाना साध रहे हैं। बिहार में जद (यू) और भाजपा के गठबंधन की सरकार है। प्रशांत के कई बयानों के बाद नीतीश खुद भी असहज हो जा रहे हैं।

उल्लेखनीय है कि प्रशांत किशोर को दिल्ली चुनाव में जद (यू) ने स्टार प्रचारकों की सूची में भी नहीं रखा था। दिल्ली में भी जद (यू) भाजपा के साथ चुनाव मैदान में उतरी है। मंगलवार को पटना में पार्टी की अहम बैठक बुलाई गई थी, जिसमें भी प्रशांत किशोर को नहीं बुलाया गया था।

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