India-China Dispute: अगले राउंड की बातचीत से पहले चीन ने पूर्वी लद्दाख में 2 किलोमीटर पीछे हटाई सेना
India-China Dispute: अगले राउंड की बातचीत से पहले चीन ने पूर्वी लद्दाख में 2 किलोमीटर पीछे हटाई सेना
डिजिटल डेस्क, नई दिल्ली। अगले राउंड की बातचीत से पहले चीन ने पूर्वी लद्दाख की कई लोकेशनों पर से अपनी आर्मी को 2 से 2.5 किलोमीटर पीछे हटा लिया है। चीनी सैनिकों के पीछे हटने के बाद भारत ने भी अपने सैनिकों को पीछे बुला लिया। बता दें कि दोनों देशों की बीच सैन्य स्तर की वार्ता गलवान इलाके के पेट्रोलिंग प्वॉइंट 14, 15 और स्प्रिंग इलाके में होगी। इसके पहले भी दोनों देशों के बीच सैन्य स्तर की बातचीत हुई थी, लेकिन उसका कोई नतीजा नहीं निकला। न्यूज एजेंसी एएनआई ने सूत्रों के हवाले से ये जानकारी दी है।
दोनों पक्षों की तरफ से लेफ्टिनेंट जनरल स्तर की बातचीत
बता दें कि पूर्वी लद्दाख में महीने भर से भारत-चीन के बीच जारी सीमा विवाद को लेकर शनिवार को दोनों पक्षों की तरफ से लेफ्टिनेंट जनरल स्तर की बातचीत हुई थी। बैठक में भारत का प्रतिनिधित्व लेह स्थित 14वीं कोर के जनरल ऑफिसर कमांडिंग लेफ्टिनेंट जनरल हरिंदर सिंह ने किया था, जबकि तिब्बत सैन्य जिला कमांडर ने चीन का पक्ष रखा। इस बैठक के बाद चीन के तेवर नरम पड़ गए। अब चीन पूरे विवाद को शांतिपर्ण ढंग से सुलझाने के लिए तैयार हो गया है। विदेश मंत्रालय (MEA) ने 7 जून को जारी बयान में कहा कि दोनों पक्ष "द्विपक्षीय समझौतों के मुताबिक सीमाई इलाकों में स्थिति के शांतिपूर्ण समाधान पर सहमत" हैं। दोनों ही पक्ष सीमावर्ती क्षेत्रों में स्थिति का हल निकालने और शांति सुनिश्चित करने और लिए दोनों पक्ष सैन्य और कूटनीतिक तौर पर जुड़े रहेंगे।
डिप्लोमेटिक लेवल पर बातचीत चलती रहेगी
विदेश मंत्रालय ने अपने बयान में कहा था कि चीन से मिलिट्री और डिप्लोमेटिक लेवल पर बातचीत चलती रहेगी। शनिवार को दोनों देशों की तरफ से हुई लेफ्टिनेंट जनरल लेवल की बातचीत से पहले स्थानीय कमांडरों के स्तर पर दोनों सेनाओं के बीच 12 राउंड बातचीत हो चुकी थी। इसके अलावा 3 बार मेजर जनरल लेवल पर भी बातचीत हो चुकी थी। कई दौर की बातचीत में कोई हल नहीं निकलने के बाद इतने बड़े स्तर पर बातचीत का फैसला हुआ। पूर्वी लद्दाख में पांच व छह मई को भारत व चीनी सेना के बीच झपड़ हो गई थी। दोनों सेनाओं के बीच पांच मई को तनाव बढ़ा था और छह मई की सुबह तक दोनों देशों की सेनाएं आमने-सामने थीं। इस झड़प के दौरान दोनों पक्षों के सैनिकों के घायल होने की खबरें भी आई थीं।