गांव पहुंचा तिरंगे में लिपटा शव , मचा कोहराम, बेटे को मुखाग्नि देते वक्त कांपने लगे पिता के हाथ
बलिया गांव पहुंचा तिरंगे में लिपटा शव , मचा कोहराम, बेटे को मुखाग्नि देते वक्त कांपने लगे पिता के हाथ
डिजिटल डेस्क, बलिया। तिरंगे में लिपटा लाल का शव घर पहुंचा तो परिजनों में कोहराम में मच गया। लाडले के शव से लिपटकर स्वजन दहाड़ मारने लगे। गमगीन माहौल में जवान का अंतिम संस्कार गंगा नदी के पचरूखियां घाट पर राजकीय सम्मान के साथ किया गया, जहां जवान बेटे को मुखाग्नि देते वक्त पिता मोहन प्रसाद के हाथ कांपने लगे। इस दौरान भारत माता की जय और दीपक अमर रहे का नारा गूंजता रहा।
बताया जा रहा है कि करीब 20 वर्ष पहले दीपक (38) सीआरपीएफ में भर्ती हुए थे। इन दिनों गुवाहाटी के 128 बटालियन में उनकी तैनाती थी। अचानक तबीयत खराब होने के कारण दीपक का निधन हो गया। जवान का शव लेकर बटालियन के सीओ हनुमान सिंह, इंस्पेक्टर महेश यादव सीआरपीएफ जवानो के साथ अपने वाहन से लेकर मंगलवार को जमालपुर स्थित घर पहुंचे। शव पर फूलमाला चढ़ाकर ग्रामीणों ने श्रद्धांजलि अर्पित की।
घर से जवान की शव यात्रा निकली, जो गंगा नदी के पचरूखियां घाट पर पहुंची। वहां सीआरपीएफ जवानों ने शस्त्र उल्टा कर सलामी दी। वहीं 21 गोली आसमान में दाग कर अमर होने के नारे लगाए। अंत्येष्टि स्थल पर पहुंचे सपा विधायक जयप्रकाश अंचल ने जवान के शव पर द्वाबा की जनता जनार्दन और समाजवादी पार्टी की तरफ से पुष्प चक्र अर्पित किया।