रबीन्द्रनाथ टैगोर विश्वविद्यालय में सुप्रसिद्ध फिल्म निर्देशक विवेक रंजन अग्निहोत्री की मास्टर क्लास
मास्टर क्लास रबीन्द्रनाथ टैगोर विश्वविद्यालय में सुप्रसिद्ध फिल्म निर्देशक विवेक रंजन अग्निहोत्री की मास्टर क्लास
डिजिटल डेस्क, भोपाल। विश्वरंग के पूर्व रंग के रूप में रबीन्द्रनाथ टैगोर विश्वविद्यालय भोपाल में प्रसिद्ध फिल्म निर्माता-निर्देशक श्री विवेक रंजन अग्निहोत्री की मास्टर क्लास का आयोजन हुआ। मास्टर क्लास में विवेक रंजन अग्निहोत्री जी ने स्क्रिप्ट और निर्देशन की बारीकियां बताते हुए अपने अनुभव विद्यार्थियों के साथ साझा किए। उन्होंने कहा कि इंसान और जानवर में जो फर्क होता है वह क्रिएटिविटी का है। इंसान के पास क्रिएटिविटी होती है। और यह क्रिएटिविटी पूरे विश्व में सबसे पास एक बराबर होती है किसी में कम या ज्यादा नहीं होती है। क्रिएटिव इंसान अपनी एक अलग दुनिया बना पाने में कामयाब होता है।
उन्होंने आगे कहा कि आज सिनेमा में जो बात हाईलाइट की जा रही है कि वह एंटरटेनमेंट एंटरटेनमेंट एंटरटेनमेंट यही सिनेमा है। यह बात गलत है। सही मायने में क्रिएटिविटी ही सिनेमा की दशा और दिशा बदलेगी। भविष्य में अब आप लोग ही बदलाव लाएंगे।
उन्होंने आज के गानों का उल्लेख करते हुए कहा कि आती क्या खंडाला कोई कविता नहीं है। ओ रे ताल मिले नदी के जल में यह कविता है क्योंकि यह लाइनें आपको जीवन दर्शन की ओर ले जाती हैं। जहां रोजमर्रा के जीवन से हटकर आपका ध्यानाकर्षण होता है। उन्होंने मायथोलॉजिकल फिल्मों पर चर्चा करते हुए कहा कि अब समय आ गया है कि आप लोग एंटरटेनमेंट एंटरटेनमेंट एंटरटेनमेंट से हटकर क्रिएटिविटी के साथ ही नए प्रोजेक्ट बनाए और सिनेमा जगत के सिनेरियो में बड़ा बदलाव करने का प्रयास करें।
इस अवसर पर आरएनटीयू नाट्य विद्यालय के विद्यार्थियों सहित देश भर से आए हुए नाट्य विद्यार्थीयों सहित बड़ी संख्या में लोगों ने मास्टर क्लास का लाभ उठाया। विद्यार्थियों ने अपने मन में उठ रहे कई प्रश्नों को उनके सामने रखा। जिसका जवाब उन्होंने दिया।
कार्यक्रम के अंत में विश्वविद्यालय के कुलाधिपति श्री संतोष चौबे जी ने उन्हें किताबे भेंट की। डॉ अमिताभ सक्सेना जी ने सभी का आभार व्यक्त किया। इस अवसर पर डॉ विजय सिंह कुलसचिव विशेष रूप से उपस्थित थे।