Jabalpur News: हमले में घायल युवक की मौत, थाने में शव रखकर प्रदर्शन
हंगामे के बाद 2 एसआई लाइन अटैच, डाॅक्टर को भी हटाया गया
Jabalpur News। पनागर थाना क्षेत्र के ग्राम उमरिया पठरा में दीपावली के दूसरे दिन हुई चाकूबाजी की घटना में घायल 26 वर्षीय युवक संतोष दुबे की इलाज के दौरान सोमवार की रात मौत हो गई। युवक की मौत से आक्रोशित परिजनों व ग्रामीणों ने मंगलवार को थाने में शव रखकर प्रदर्शन किया। उनका आरोप था कि मामला दर्ज करने में कोताही बरतने वाले पुलिस अधिकारियों व मुलाहिजा मंे देरी करने वाले डाॅक्टर को हटाया जाए। हंगामे के बीच माँग पूरी होने का आश्वासन दिए जाने पर प्रदर्शन समाप्त हुआ।
ज्ञात हो कि ग्राम पठरा निवासी संतोष दुबे का 1 अक्टूबर को सौरभ पटेल, सोनू पटेल और रमन पटेल से किसी बात को लेकर विवाद हुआ था। विवाद के चलते तीनों ने मिलकर संतोष दुबे पर चाकू से हमला कर दिया था। घायल के पेट में चाकू का घाव लगा था। उसे इलाज के लिए पनागर अस्पताल ले जाया गया था। वहाँ से रेफर कर विक्टाेरिया अस्पताल भेजा गया था। इलाज के दौरान बीती रात घायल की मौत हो गई। युवक की मौत से आक्रोशित परिजनों व ग्रामीणों ने मंगलवार को थाने में शव रखकर प्रदर्शन कर वहाँ पदस्थ दो एसआई व पनागर अस्पताल के ड्यूटी डाॅक्टर पर मुलाहिजे में देरी किए जाने का आरोप लगाया। हंगामा होने की सूचना पर क्षेत्रीय विधायक इंदू तिवारी मौके पर पहुँचे और प्रदर्शनकारियों से चर्चा कर निष्पक्ष कार्रवाई का भरोसा दिलाया जिसके बाद मामला शांत हुअा।
दूसरी बार गिरफ्तार हुए आरोपी
पुलिस से मिली जानकारी के अनुसार चाकूबाजी की घटना की सूचना मिलने पर मामला दर्ज कर तीनों आरोपियों को गिरफ्तार किया गया था, जो कि जमानत पर छूटकर आ गए थे। घायल की मौत की सूचना मिलने पर मामले को हत्या की धाराओं में तब्दील कर फिर से तीनों आरोपियों को गिरफ्तार किया गया है।
दो एसआई पर गिरी गाज
प्रदर्शनकारी अन्नू दुबे, नीरज पांडे, सुरेश मिश्रा, गुरु उपाध्याय, साहिल दुबे, शेखर द्विवेदी आदि का कहना था कि चाकूबाजी की घटना की रिपोर्ट दर्ज कराई जाने पर पुलिस ने मामूली धाराओं के तहत प्रकरण दर्ज किया था, जिससे आरोपियों को जमानत मिल गई। उधर पुलिस उप अधीक्षक आकांक्षा उपाध्याय ने बताया कि जाँच में कोताही बरतने के आरोप में थाने में पदस्थ एसआई मयंक यादव और संतोष ठाकुर को लाइन अटैच किया गया है।
चिकित्सक काे बरेला भेजा
उधर इस मामले में प्रदर्शनकारियों द्वारा आरोप लगाया गया था कि घायल को पनागर अस्पताल ले जाया गया था। वहाँ पर तैनात चिकित्सक डाॅ. रजी नफीस द्वारा मुलाहिजे में देरी की गई। वही गंभीर चोट को मामूली चोट होना बताया गया था। इन आरोपों के चलते डाॅ. नफीस को पनागर अस्पताल से हटाकर बरेला अस्पताल भेजा गया है।