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Bhandara News: भंडारा में एक एकड़ में लागत 30 हजार उत्पादन हुआ 15 हजार का
- अतिवृष्टि, बाढ़, कीटों के कारण फसल का नुकसान
- किसानों का बजट बिगड़ा, खर्च निकलना मुश्किल
- धान की फसल की कटाई -चुराई जोरशोर से शुरू
Bhandara News जिले में इस वर्ष खरीफ मौसम में करीब एक लाख 81 हजार हेक्टेयर में धान की फसल की बुआई की गई। लेकिन अतिवृष्टि, बाढ़, कीटों के कारण फसल का नुकसानहुआ। जिसके कारण उत्पादन कम हुआ। इससे किसानों का बजट बिगड़ गया है। उत्पादन खर्च कैसे निकालें एवं रबी मौसम की फसल के कृषि कार्य कैसे करें? ऐसा सवाल किसानों के सामने उपस्थित हो गया है। जिले में खरीफ मौसम अब अंतिम चरण में है। किसानों ने धान की फसल की कटाई -चुराई जोरशोर से शुरू की है। एक एकड़ में करीब 16 से 25 बोरी धान होना चाहिए था। पर इस वर्ष एक एकड़ में केवल 7- 8 बोरी ही धान हुआ है। जिसके कारण किसानों का बजट बिगड़ गया है। धान की नर्सरी से चुराई तक किसानों को प्रति एकड़ 25 हजार रुपए से 30 हजार रुपए खर्च आया है। इसके बावजूद उत्पादन केवल 10 हजार रुपए से 15 हजार रुपए का हुआ है।
परिवार ने 4 महीने काम किया : इस वर्ष प्रति एकड़ 20 से अधिक बोरी धान का उत्पादन होने की स्थिति थी। किंतु फसल परिपक्व होने के समय इल्लियों समेत विविध बीमारी -कीटों ने फसल नुकसान पहुंचाया। जिससे 7 -8 एकड़ बोरी फसल हुई है। उत्पादन का खर्च भी नहीं निकल रहा है। परिवार ने करीब 4 महीने काम किया, उसका हिसाब तो लगाया ही नहीं है। - गौरी शंकर राऊत, किसान पांजरा, बोरी
कटाई के दौरान भी नहीं छोड़ रहे कीट : जिले में बड़ पैमाने पर किसान धान की फसल की खेती करते हैं। इस समय धान की कटाई चल रही है। ऐसे में धान फसल पर घाटे कीड़े, करप्पा समेत अन्य कीटों का प्रकोप बढ़ गया है। कीटों का प्रकोप न हो इसलिए किसान जल्दी जल्दी फसल काट रहे हैं। कीटों के कारण धान उत्पादन में कमी होने की आशंका किसानों ने व्यक्त की है। जिले की सात तहसील में किसानों ने बड़े पैमाने पर धान की बुआई की थी। खरीफ मौसम में तहसीलों में अच्छी बारिश हुई। इससे खेत परिसर में फसल लहलहा रही थी। दिवाली त्योहार में कुछ क्षेत्र में बारिश ने दस्तक दी थी। इसका परिणाम फसल पर हुआ है। इसके कारण फसल पर विभिन्न कीटों का प्रकोप हुआ है। किंतु कुछ क्षेत्र में फसल पर कीटों का प्रकोप होने से किसान चिंता में है। कीटों से हुई फसल की क्षति का मुआवजा देने की मांग किसानों ने की है।
कीटों से फसल हुई नष्ट : इस वर्ष बारिश अच्छी होने से खेतों में धान की फसल लहलहा रही थी। किंतु फसल किसानों के हाथ आने के पहले ही फसल पर घाटे कीड़े का प्रकोप बढ़ गया। कीटों के प्रकोप से फसल पूरी तरह से नष्ट हो गई। इसके कारण उत्पादन में घट गया। कृषि विभाग संज्ञान लेकर मुआवजा दे।- विजय हटवार, किसान, सावरी
Created On :   20 Nov 2024 11:50 AM IST